हां में हां न मिलाने वाले अधिकारी किए जा रहे साइड : अर्जुन मुंडा
संवाद सूत्र, खरसावा : पूर्व मुख्यमंत्री अर्जुन मुंडा ने राज्य में व्याप्त प्रशासनिक कार्य संस्कृति पर हेमंत सरकार पर निशाना साधा है। मुंडा ने मुख्यमंत्री से सवाल किया कि क्या कनीय अधिकारी भी विभागीय सचिव को आनन-फानन में हटाने में सक्षम हैं? पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि अवर सचिव स्तर के अधिकारी मुख्यसचिव के बारे में निर्णय ले रहे हैं। कुछ ही दिन पूर्व कई वरीय पदाधिकारियों का स्थानांतरण कम महत्व के विभागों में इसलिए किया गया की वे मंत्रियों की हा में हां नहीं मिलाते थे। मीडिया में आयी सूचना के अनुसार सहकारिता मंत्री के समक्ष अनियमितता से संबंधित संचिकाएं कई माह से लंबित हैं और भ्रष्ट कनीय अधिकारियों के दबाव में मुख्यमंत्री भी प्रतिकूल प्रशासनिक निर्णय लेते हैं। मुंडा ने कहा कि राज्य में कार्य संस्कृति दुष्प्रभावित होने के कारण सरकार की दिशाहीनता है। हेमंत सरकार अपना विश्वास खो चुकी है, जिसका खामियाजा राज्य की जनता को भुगतना पड़ रहा है। वर्तमान सरकार में जहा मंत्री लगातार विवादों में है वहीं इन मंत्रियों के सरकारी कामकाज करने के तौर-तरीकों पर भी प्रश्न चिन्ह लग रहे हैं। इसलिए अब इस सरकार को एक दिन भी बने रहने का नैतिक अधिकार नहीं है। अभी भी राज्य सरकार दो मंत्री की बर्खास्तगी को लेकर ढुलमुल रवैया अपना रखी है। मुख्यमंत्री को खुद निर्णय लेने का अधिकार नहीं है वे अपने सहयोगी दलों के फैसले के इन्तजार में है।