खेतों में ही झुलस रही आलू की फसल
खुशी राम, बरोट चौहारघाटी में आलू की फसल को अज्ञात रोग लगने से खेतों में ही फसल झुलसने लगी है। इससे
खुशी राम, बरोट
चौहारघाटी में आलू की फसल को अज्ञात रोग लगने से खेतों में ही फसल झुलसने लगी है। इससे किसानों को काफी नुकसान हो रहा है। फसल को यह झुलसा रोग लगने से किसान मायूस हो गए हैं। क्षेत्र के किसानों ने इस बार काफी मात्रा में आलू की बिजाई की थी और मौसम अनुकूल रहने से बंपर फसल होने की संभावना जताई जा रही थी, लेकिन अब फसल को अज्ञात बीमारी लग गई है। आलू के पौधे अचानक खेतों में सूखने लगे हैं। इससे फसल बर्बाद हो रही। अज्ञात बीमारी लगने से किसान ¨चता में डूब गए हैं। किसान दान ¨सह, परस राम, डागी राम, राम चंद आदि का कहना है कि घाटी में एकमात्र नकदी फसल आलू की ही बेहतर पैदावार होती है और इस फसल से ही उनका साल भर का खर्च निकलता है। यहां के लोग हर वर्ष काफी मात्रा में आलू बीजते हैं। इसी से उनकी आर्थिकी भी मजबूत होती है। क्षेत्र में आलू की फसल लगभग तैयार होने को है। आगामी एक माह के भीतर आलू निकाल लिए जाएंगे, लेकिन अचानक झुलसा रोग लगने से आलू के पौधे सूखने लग पड़े हैं। इस खतरनाक रोग से प्रभावित हो रही आलू की फसल को देखकर किसानों के चेहरों पर ¨चता की लकीरें खिंच गई हैं। फसल बीमारी की चपेट में आने से लाखों रुपये का नुकसान हो सकता है। इससे पहले भी कई बार घाटी के किसानों को फसल को इस प्रकार की बीमारी लगने से नुकसान उठाना पड़ा है। इस बार फिर से उनकी मेहनत पर पानी फिर सकता है। किसानों का कहना है कि उन्होंने फसल को इस रोग से बचाने के लिए अपनी ओर से खूब मेहनत की तथा विभागीय सुझाव भी दिए, लेकिन फसल बीमारी की चपेट में आने से फिर भी बच नहीं पाई है। उन्होंने कृषि विभाग से मांग की है कि नई तकनीक सोचकर उनकी फसल को झुलसा रोग से बचाया जाए।
विभाग के कर्मचारियों को मौके पर भेजा जाएगा। निरीक्षण करने के बाद फसल को बीमारी से बचाने के लिए किसानों को सुझाव दिए जाएंगे।
आरके कौंडल, उपनिदेशक, कृषि विभाग