जन्मजात समस्याओं से बचाने में मददगार आईवीएफ
चालीस या उससे ज्यादा उम्र में मां बनने की स्थिति में संतान में स्वास्थ्य संबंधी जन्मजात समस्याएं सामने आती हैं।
सिडनी, एजेंसी। सामाजिक विकास के साथ मां बनने की औसत उम्र भी बढ़़ती जा रही है। कामकाजी महिलाओं में बड़़ी उम्र में मां बनने का चलन ज्यादा है। चालीस या उससे ज्यादा उम्र में मां बनने की स्थिति में संतान में स्वास्थ्य संबंधी जन्मजात समस्याएं सामने आती हैं। ऑस्ट्रेलियाई शोधकर्ताओं ने इस समस्या से छुटकारा पाने का तरीका ईजाद करने का नया तरीका सामने लाने का दावा किया है। उनके मुताबिक परंपरागत के मुकाबले इन-विट्रो फर्टीलाइजेशन (आईवीएफ) की मदद से पैदा होने वाले बच्चों में स्वास्थ्य संबंधी जन्मजात समस्याएं होने की आशंका कम होती है। चालीस या उससे ज्यादा उम्र में मां बनने वाली महिलाओं के संतान के लिए इसे कारगर बताया गया है। मालूम हो कि ब़डी उम्र में पैदा होने वाले बच्चों में आमतौर पर इम्यून सिस्टम के कमजोर होने की समस्या सामने आती है। इस वजह से कई तरह की बीमारियां होने का खतरा रहता है। अब उससे निपटने में मदद मिलने की उम्मीद जगी है।