बॉडी शेपिंग: बनाएं परफेक्ट फिगर
स्थेटिक मेडिसिन' आधुनिक मेडिकल साइंस की वह विधा है, जिसमें किसी शख्स के रंग, रूप, उसके फिगर, दाग-धब्बों, बालों और त्वचा आदि से संबंधित विकारों (डिफेक्ट्स) को दूर किया जाता है... एस्थेटिक मेडिसिन में बॉडी कन्टूरिंग
स्थेटिक मेडिसिन' आधुनिक मेडिकल साइंस की वह विधा है, जिसमें किसी शख्स के रंग, रूप, उसके फिगर, दाग-धब्बों, बालों और त्वचा आदि से संबंधित विकारों (डिफेक्ट्स) को दूर किया जाता है...
एस्थेटिक मेडिसिन में बॉडी कन्टूरिंग
या फिगर करेक्शन ट्रीटमेन्ट्स की भी बेहद मांग
है। जीरो फिगर और सिक्स पैक्स अब बॉडी बिल्डर्स और फिल्म स्टार्स तक सीमित नहीं रहे। समाज में हर वर्ग और हर उम्र का व्यक्ति परफेक्ट शेप और परफेक्ट फिगर पाना चाहता है। ऐसे में जिम और सही खानपान के बावजूद उम्र और
प्रेगनेन्सी से पेट पर जमी हुई चर्बी अक्सर परफेक्ट फिगर की चाह रखने वालों को अखरती रहती है।
एस्थेटिक मेडिसिन के अंतर्गत शामिल आधुनिक तकनीकें किसी भी उम्र में परफेक्ट फिगर के सपने को पूरा कर रही हैं।
मुख्यतया तीन तकनीकें
स्किन टाइटेनिंग और बॉडी शेपिंग में प्रभावी हैं...
क्रायोलाइपोलिसिस: आधुनिकतम तकनीक जो अवांछित वसा या फैट को माइनस -2 डिग्री सेल्सियस तापमान से -10 डिग्री सेल्सियस तापमान के बीच जमा देती है। एक घंटे तक इस तापमान पर रखने से वसा कोशिकाएं
क्रिस्टलीकृत होकर मृत हो जाती हैं, जो शरीर के लिम्फैटिक सिस्टम के माध्यम से उत्सर्जित हो जाती हैं।
वसा कोशिकाओं के मृत होने के परिणाम
स्थायी होते हैं।
अल्ट्रासोनिक कैविटेशन- ये तरंगें एक प्रकार
की ध्वनि तरंगें हैं, जो वसा कोशिकाओं के अंदर छोटी-छोटी कैविटी बना देती हैं, जिससे
बड़ी कोशिकाएं टूट जाती हैं और उनका मेटाबॉलिज्म बढ़ जाता है, इस दौरान यदि व्यक्ति खानपान पर नियंत्रण रखे और नियमित रूप से
शारीरिक व्यायाम करे, तो वजन कम
होने के साथ ही इलाज वाले हिस्से की
वसा कम होने लगती है।
रेडियोफ्रीक्वेंसी स्किन टाइटेनिंग- ये भी एक प्रकार की ध्वनि तरंगें हैं, जो त्वचा की दूसरी परत डर्मिस में अत्यधिक ऊष्मा उत्पन्न करके प्रभाव डालती हैं- लगभग 40 डिग्री फॉरेनहाइट तापमान
पर। इस प्रभाव के कारण कोलेजेन रेशे त्वचा में कसाव लाते हैं।
डॉ. प्रभा सिंह एस्थेटिक सर्जन