Move to Jagran APP

सीडीएलयू के कर्मचारियों ने दस दिन में मांगे पूरी नहीं होने पर आंदोलन की दी चेतावनी

जागरण संवाददाता, सिरसा : चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय के गैर शिक्षक कर्मचारियों ने सोमवार को विभिन्न

By Edited By: Published: Mon, 16 Jan 2017 06:59 PM (IST)Updated: Mon, 16 Jan 2017 06:59 PM (IST)
सीडीएलयू के कर्मचारियों ने दस दिन में मांगे पूरी नहीं होने पर आंदोलन की दी चेतावनी
सीडीएलयू के कर्मचारियों ने दस दिन में मांगे पूरी नहीं होने पर आंदोलन की दी चेतावनी

जागरण संवाददाता, सिरसा :

loksabha election banner

चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय के गैर शिक्षक कर्मचारियों ने सोमवार को विभिन्न मांगों को लेकर कुलपति डॉ. विजय कायत को ज्ञापन सौंपा। विवि के कर्मचारियों ने दस दिन में मांगे पूरी नहीं होने पर आंदोलन की चेतावनी दी है। इससे पहले सुबह करीब 11 बजे कर्मचारी एकत्रित हुए। बता दें कि कर्मचारियों ने मांगों को लेकर दिसंबर माह में आंदोलन भी शुरू किया था। जिसके तहत कर्मचारियों ने विवि में धरना भी दिया। विवि का कार्यभार संभालने के बाद वीसी ने जल्द ही मांगों पर विचार विमर्श करने का आश्वासन दिया।

::: करेंगे आंदोलन

एसोसिएशन के प्रधान महेंद्र बैनीवाल ने बताया कहा कि कर्मचारियों की दस दिन में मांगे पूरी नहीं हुई तो वे ऑल हरियाणा फेडरेशन के साथ मिलकर मुख्यमंत्री और राज्यपाल को शिकायत करेंगे और उसके बाद सीडीएलयू में आंदोलन शुरू कर दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि वीसी को सौंपे ज्ञापन में नए सी टाईप मकान व फ्लैट बनाने की प्रक्रिया चल रही है जो सरासी गैर शिक्षण कर्मचारियों के साथ अन्याय है क्योंकि सी टाईप मकानों की दो श्रेणी हैं जिससे कर्मचारियों में मतभेद पैदा हो सकते हैं। यह फैसला न केवल गैर शिक्षण कर्मचारियों को प्रभावित करता है बल्कि शिक्षक एवं गौर शिक्षण कर्मियों के बीच भी खाई बढ़ाता है। ऐसे में फैसले सभी मकान श्रेणी पर सामान रूप से प्रभावित होने चाहिएं न कि कुछ चु¨नदा मकानों पर बताया गया है।

वीसी को सौंपे ज्ञापन में बताया गया है कि यदि शैड वाली पार्किंग बनाई जाती है तो उसका खर्च नाममात्र है इस लिए डिजाइन के बेस पर ही लाखों रुपये खर्च हो जाते हैं, फ्लैट तीन मंजिला ही क्यों जब फ्लैट हैं तो सभी श्रेणी के मकानों का फ्लैट सिस्टम होना चाहिए। उन्होंने कहा कि विवि की हर बि¨ल्डग, रोड, पार्क आदि का फुलप्रूफ प्लान व नक्शा विवि की स्थापना के समय से ही स्वीकृत हो चुका है उसमें छेड़छाड़ केवल सरकार के आदेशों से ही हो सकती है। विवि स्तर पर वर्तमान फ्लैट सिस्टम गैर कानूनी व सरकार के स्वीकृत आदेश के खिलाफ है। ज्ञापन में कहा गया है कि विवि के कार्यकारी अभियंता और रजिस्ट्रार मिलकर नियमों की धज्जियां उड़ा रहे हैं। बिना किसी प्राधान कार्यकारी अभियंता का मकान रिहायशी एरिया से अलग व कार्यालय के पास है, रजिस्ट्रार द्वारा ईयर मार्कड मकान होने के बावजूद दिसंबर को स्पष्ट कुलपति के आदेश के बाद भी दो-दो मकानों पर कब्जा करके विवि की संपति का गैर कानूनी तरीके से समायोजन करना व आर्थिक हानि पहुंचाना

::: स्वीकृत पद पड़े हैं खाली

एसोसिएशन के प्रधान महेंद्र बैनीवाल ने कहा कि विवि के स्वीकृत पद खाली होते हुए भी सरकार के स्पष्ट आदेश की उल्लंघना करके इन खाली पदों पर विपरीत कर्मचारियों की भर्ती न करके और न ही अनुबंध पर रखकर जानबूझ कर आउटसोर्सिंग स्टाफ लगाया गया। सरकार की पॉलिसी में स्पष्ट हिदायत है कि सर्व प्रथम खाली पड़े पदों पर सीधे कर्मचारी अनुबंध पर लगाए जाएंगे एवं बाद में आउटसोर्सिंग कर्मचारी भर्ती किए जाएंगे। आउटसोर्सिंग कर्मचारियों को डीसी रेट न देने का आधार गैर कानूनी तरीके से तैयार किया गया है।

रजिस्ट्रार पद के नियमित नियुक्ति के बावजूद टीचर के तौर पर सारे लाभ गैर कानूनी तरीके से प्राप्त करना जैसे डीन का पद लेना

सुपर एच मकान केवल कार्यकारी अभियंता की जिद के कारण बनाए गए हैं। ऐसे मकानों में गैर शिक्षण कर्मचारियों को बहुत समस्याएं आएंगी।

परीक्षा शाखा में आठ कंप्यूटर, आठ ¨प्रटर, आठ यूपीएस और चार स्कैनर की आवश्यक्ता है ताकि शाखा का काम समय पर हो सके और परीक्षा परिणाम भी समय पर आ सके। संसाधान की कमी के कारण कार्य प्रभावित हो रहे हैं।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.