सिरसा आए साइबेरियाई पक्षी
जागरण संवाददाता, सिरसा : साइबेरिया व दूसरे ठंडे देशों से प्रवासी पक्षियों का सिरसा से मोह नहीं टूटा
जागरण संवाददाता, सिरसा : साइबेरिया व दूसरे ठंडे देशों से प्रवासी पक्षियों का सिरसा से मोह नहीं टूटा और वे फिर से सिरसा की धरती पर उतरे हैं। लुदेसर, ओटू झील व नाथूसरी चौपटा क्षेत्र में साइबेरियाई पक्षी पहुंच गए हैं। ये पक्षी यहां लंबे समय तक रहेंगे।
वन्य जीव विभाग के अनुसार पिछले 20 से अधिक वर्षो से साइबेरियाई पक्षी सिरसा आते रहे हैं। पहले इन पक्षियों के लिए ओटू झील ही प्रमुख स्थान रहा लेकिन घग्घर में प्रदूषित पानी के बाद इन पक्षियों ने यहां से अपना रुख बदल लिया और इसके बाद वे कई गांवों के तालाबों में पहुंचने शुरू हो गए हैं। हालांकि ओटू झील में अब भी प्रवासी पक्षी आ रहे हैं लेकिन अब इनकी संख्या पूर्व की अपेक्षा काफी कम हैं। इस बार सबसे अधिक प्रवासी पक्षी लुदेसर के तालाब में देखे गए हैं। लुदेसर व नाथूसरी चौपटा क्षेत्र में करीबन डेढ़ हजार प्रवासी पक्षी पहुंचे हैं जिनमें प्रमुख रूप से स्पून बेल, पिन टेल, सोलर, नार्द पिनटेल, ग्रे हेटेन शामिल हैं।
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इस बार देरी से पहुंचे पक्षी
वन्य जीव विभाग के अधिकारी जसविंद्र नेहरा ने बताया कि नाथूसरी चौपटा क्षेत्र में यह पक्षी दिसंबर के पहले सप्ताह में पहुंचते रहे हैं लेकिन इस बार कुछ देरी से पहुंचे हैं। हर वर्ष ठंड के समय में ये पक्षी इसी क्षेत्र में आते रहे हैं और यहां इनका प्रवास 15 जनवरी तक रहेगा। इसके बाद इनमें से कुछ वापस लौट जाएंगे जबकि शेष अन्य 15 फरवरी के आसपास उड़ान भरते हैं। साइबेरिया, चीन व दूसरे देशों से आने वाले ये पक्षी अकसर उसी क्षेत्र में आते हैं जहां पहले आते रहते हैं।
प्रवासी पक्षियों में बर्ड फ्लू को लेकर चलाया अभियान
जसविंद्र नेहरा ने बताया कि पूरे क्षेत्र में प्रवासी पक्षियों में बर्ड फ्लू को देखने के लिए अभियान चलाया गया है। दो दिन से वे खुद जहां प्रवासी पक्षी आए हुए हैं वहां पहुंच रहे हैं। अभी तक किसी भी प्रवासी पक्षी में इस तरह के लक्षण नहीं पाए गए हैं और न ही कोई पक्षी मृत पाया गया है।