बच्चों ने सूर्य नमस्कार पर नृत्य प्रस्तुत कर बांधा समां
जागरण संवाददाता, कुरुक्षेत्र : बच्चे भगवान का रूप होते हैं, उनके मन में किसी के लिए कोई द्वेष
जागरण संवाददाता, कुरुक्षेत्र : बच्चे भगवान का रूप होते हैं, उनके मन में किसी के लिए कोई द्वेष या दुर्भाव नहीं होता है, उन्हें जिस रूप में ढालो, वे ढल जाते हैं। ये शब्द डॉ. हरपाल कौर ने अखिल भारतीय विद्या मंदिर धुराला के वार्षिकोत्सव समारोह में कहे। वे बतौर मुख्यातिथि उपस्थित अभिभावकों को संबोधित कर रही थीं।
अखिल भारतीय विद्या मंदिर के निदेशक सुभाष शर्मा ने बताया कि धुराला में विद्यालय स्थापित करने का उद्देश्य यहां के बच्चों को भारतीय मूल्यों के साथ-साथ आधुनिक शिक्षण पद्धति से रूबरू कराना था और विद्यालय इस उद्देश्य में काफी हद तक सफल भी रहा हैं। विद्यालय की स्थापना दो वर्ष पूर्व की गई थी। समारोह के दौरान कक्षा प्री नर्सरी से कक्षा तृतीय तक के बच्चों ने सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किए। प्री नर्सरी के बच्चों ने सूर्य नमस्कार पर नृत्य प्रस्तुत किया। कक्षा द्वितीय व तृतीय के विद्यार्थियों ने अंग्रेजी नाटिका प्रस्तुत की। वहीं कक्षा प्रथम के विद्यार्थियों ने कव्वाली प्रस्तुत कर सबका मन जीत लिया। कक्षा प्रथम, द्वितीय व तृतीय के विद्यार्थियों ने पंजाबी नृत्य भांगड़ा की मनमोहक प्रस्तुति दी। स्कूल की मुख्य अध्यापिका रेनु वर्मा ने मुख्यातिथि डॉ. हरपाल कौर व अन्य आए हुए अतिथियों का धन्यवाद किया और कहा कि इस तरह के आयोजनों से बच्चों में आत्मविश्वास पैदा होता है और स्टेज का भय समाप्त होता हैं। विद्यालय का ये दायित्व है कि बच्चों के सर्वागिण विकास के लिए प्रयासरत रहें। इस कार्यक्रम में डॉ. अनिल वत्स, रेनू चौधरी उपस्थित थे।