संतुलित आहार के साथ ही सही तालमेल भी बेहद जरूरी : चारू
जागरण संवाददाता, करनाल अच्छे स्वास्थ्य के लिए जरूरी है संतुलित आहार, लेकिन खाने के सही त
जागरण संवाददाता, करनाल
अच्छे स्वास्थ्य के लिए जरूरी है संतुलित आहार, लेकिन खाने के सही तालमेल की जानकारी इससे भी कहीं अहम है। यानी किस-किस चीज को एक साथ खाना चाहिए और किस को नहीं इसकी पूरी जानकारी हर किसी को होनी बेहद जरूरी है। इसके बारे में आयुर्वेद में तो काफी जानकारी दी गई है, लेकिन मॉडर्न मेडिसिन खानपान के तालमेल की बजाय संतुलित आहार पर ही फोकस करती है। जबकि अच्छे स्वास्थ्य के दोनों का ज्ञान होना चाहिए। आज की भागदौड़ भरी ¨जदगी में बीमारियों से बचना है तो खानपान पर ध्यान देना ही होगा। आयुर्वेद के मुताबिक उलटे गुणों व मिजाज का खाना लंबे समय तक ज्यादा मात्रा में एक साथ खाना नुकसान पहुंचा सकता है। लेकिन यह भी सच है कि लोगों पर किसी भी खाने का असर अलग-अलग हो सकता है। यानी कोई चीज किसी को बहुत सूट करती है तो वही चीज दूसरे को नुकसान भी पहुंचा सकती है, इसलिए किसी भी खाने के लिए यह नहीं कहा जा सकता कि इसका असर ऐसा होगा ही। सर्वोदय अस्पताल की डायटिशियन चारू कीर्ति शर्मा ने इस बारे में दैनिक जागरण से अपने विचार साझा किए।
जानिए गुड व बैड कॉम्बिनेशन के बारे में
डायटिशियन चारू कीर्ति शर्मा का कहना है कि हम खाने में एक साथ कई चीजें खाना पसंद करते हैं। लेकिन एक ही वक्त के खाने में कुछ चीजें एक साथ खाना कई बार फायदे की बजाय नुकसानदेह हो सकता है। ऐसे में जरूरी है, यह जानना कि अच्छा खाना (गुड कॉम्बिनेशन) क्या है और खराब खाना (बैड कॉम्बिनेशन) क्या है। दरअसल, आयुर्वेद में अच्छा खाना उसे कहा जाता है, जिसमें घी हो। हल्का और आसानी से पचने के साथ ही थोड़ा गर्म भी हो। दूसरी ओर, उलट मिजाज के खाने मसलन जिनका तापमान बहुत ठंडा और बेहद गर्म हो। जैसे दूध ठंडा होता है और मछली गर्म इसलिए दोनों को एक साथ नहीं खाना चाहिए। ऐसी चीजों को आयुर्वेद में विरुद्ध आहार की श्रेणी में रखा जाता है।
दूध के साथ नहीं खाएं दही
डायटिशियन चारू कीर्ति शर्मा का कहना है कि दूध और दही दोनों की तासीर अलग होती है। दही खमीर वाली चीज है। दोनों को मिक्स करने से बिना खमीर वाला खाना (दूध) खराब हो जाता है। साथ ही, एसिडिटी बढ़ती है और गैस, अपच व उलटी हो सकती है। इसी तरह दूध के साथ अगर संतरे का जूस लेंगे तो भी पेट में खमीर बनेगा। अगर दोनों को खाना ही है तो दोनों के बीच घंटे-डेढ़ घंटे का फर्क होना चाहिए क्योंकि खाना पचने में कम से कम इतनी देर तो लगती ही है।
मीठ व खट्टे फल एक साथ न खाएं
मीठे फल व खट्टे फल एक साथ न खाएं। आयुर्वेद के मुताबिक, संतरा व केला एक साथ नहीं खाना चाहिए। खट्टे फल मीठे फलों से निकलने वाली शुगर में रुकावट पैदा करते हैं। इससे पाचन में दिक्कत हो सकती है। साथ ही, फलों की पौष्टिकता भी कम हो सकती है। हालांकि मॉडर्न मेडिकल साइंस इससे इत्तफाक नहीं रखती। इसी प्रकार खाने के साथ पानी पीने से बचना चाहिए। अगर पानी ज्यादा लेंगे तो खाना फौरन नीचे चला जाएगा। अगर पीना ही है तो थोड़ा पीएं। वह भी गुनगुना या नॉर्मल पानी। ठंडा पानी पीने से बचना चाहिए।
ऐसी हो डाइट
डायटिशियन चारू कीर्ति शर्मा का कहना है कि डाइट संतुलित होनी चाहिए। इसमें कार्बोहाइड्रेट (अनाज, सब्जियां), प्रोटीन (दूध, दही, दाल, अंडा, नॉनवेज), फैट (मक्खन, मलाई, तेल), मिनरल्स व विटामिन (फल, सब्जियां, मछली) आदि हों।