कुसुम का 'कोरिया' जाने का सपना होगा पूरा
जागरण संवाददाता, बहंादुरगढ़ : रियो ओलंपिक में देश की बेटियों के साहसिक प्रदर्शन से जहा खिलाड़ियों का
जागरण संवाददाता, बहंादुरगढ़ : रियो ओलंपिक में देश की बेटियों के साहसिक प्रदर्शन से जहा खिलाड़ियों का उत्साह बढ़ा है तो सरकार भी मेहरबान हो रही है। क्षेत्र के एक गाव में गरीब घर की बेटी के विदेश में खेलने पर जब आर्थिक तंगी आड़े आई तो सरकार उसकी मदद के लिए झट से आगे आ गई। प्रदेश के मंत्री ओमप्रकाश धनखड़ ने खुद इस खिलाड़ी को कोरिया में खेलने के लिए भेजने का जिम्मा लिया है।
बहादुरगढ़ के गाव गोयला की किक बॉक्सिंग खिलाड़ी कुसुम के पास कोरिया जाने के लिए पैसा नहीं है, यह बात जब प्रदेश के कृषि एवं पंचायत मंत्री ओमप्रकाश धनखड़ तक पहुची तो उन्होंने तुरत कुसुम के आने-जाने के खर्च की व्यवस्था का ऐलान कर दिया। इससे कुसुम, उसके कोच और परिवार के सभी सदस्य खुश है। सितंबर में कुसुम को कोरिया जाना है। अब वह इसके लिए जी जान से तैयारी में जुट गई है।
प्रतिभावान खिलाड़ी है कुसुम
पिछले दो साल से छात्रा कुसुम किक बॉक्सिंग खेलती है। उसकी इस प्रतिभा पर उसके परिवार ने उसे आगे बढ़ाया है। साधारण परिवार के गुलाब सिंह व बाला की तीन संतानों में छोटी बेटी कुसुम को परिवार का पूरा सहयोग मिल रहा है और इसी उत्साह के साथ वह निरंतर जीत रही है। जहा भी प्रतिभागिता करती है, वहीं पदक लेकर लौटती है। वह किक बॉक्सिंग में देश-प्रदेश का नाम रोशन करना चाहती है और इसी दिशा में निरंतर अभ्यास करती है।
यह थी परेशानी
कुसुम का परिवार आर्थिक तौर पर कमजोर है। ऐसे में वह उसे अपने दम पर विदेश में खेलने के लिए भेजने में सक्षम नहीं। सितंबर में उसे कोरिया जाना है, मगर यह सपना अधूरा रह जाता यदि हरियाणा के कृषि मंत्री ओपी धनखड़ उसकी मदद को आगे नहीं आते। यह मामला संज्ञान में आते ही धनखड़ ने मदद का ऐलान किया। इसके लिए कुसुम मंत्री का आभार जताती है।
कुसुम के पिता बोले
कुसुम के पिता गुलाब सिंह बेटी की मदद का जिक्र आते ही भावुक हो जाते है। वे कहते हैं कि कुसुम उनके लिए बेटे से बढ़कर है। मा बाला भी मदद मिलने की घोषणा पर प्रसन्न है। दोनों इसके लिए सरकार का आभार जताते हैं। कुसुम के कोच कहते हैं कि उसके अंदर आगे बढ़ने का माद्दा है। वह निरंतर अभ्यास के बाद अपने घर पर भी अभ्यास करती है। ताकि आगे बढ़ सके।
ये बोले मंत्री
हरियाणा के कृषि मंत्री ओपी धनखड़ ने कुसुम की मदद का एलान किया है। बॉक्सिंग संघ के अध्यक्ष के नाते धनखड़ ने कहा कि कुसुम को कोरिया जाने में परेशानी नहीं होगी। इसकी व्यवस्था वे खुद कराएंगे। साथ ही वे कहते हैं कि किसी भी खिलाड़ी की मदद को वे सदैव तैयार हैं। उनका मकसद खेलों को बढ़ावा देना हैं। किक बॉक्सिंग के मामले पर भी वे कहते हैं कि छात्रा खेलकर आगे बढ़ रही है हम मदद करेंगे।
कुसुम अब 2 से 9 सितंबर के बीच कोरिया में होने वाली एशियन किक बाक्सिंग चैंपियनशिप में प्रतिभागिता करेगी। वर्ष 2014-15 की एशियन किक बॉक्सिंग में वह रजत पदक भी जीत चुकी है। वर्ष 2016 के लिए कुसुम का चयन हो रखा है। इस बार यह प्रतियोगिता कोरिया में हो रही है। कुसुम ने साल 2014 में किक बॉक्सिंग शुरू की थी। कोच जसवंत जय मॉडर्न स्कूल में लड़कियों को सैल्फ डिफेंस की ट्रेनिंग देने आए थे। वहीं से कुसुम की किक बॉक्सिंग की शुरूआत हुई थी। जल्द ही वह जिले की नंबर एक खिलाड़ी बन गई। 49 वीं हरियाणा स्टेट स्कूल प्रतियोगिता 2015 में उसने पहला स्थान पाया। नेशनल किक बॉक्सिंग में पहला स्थान, 60वें नेशनल स्कूल खेलों के अंडर 17 में रजत पदक और 2015- 16 के नेशनल किक बॉक्सिंग और फेडरेशन कप में स्वर्ण पदक हासिल किया। कुसुम को बेस्ट प्रो किक बॉक्सिंग चैंपियन का अवार्ड भी मिल चुका है।