विद्यार्थियों को उच्चतर शिक्षा से जोड़ने की कवायद
जागरण संवाददाता, गुड़गांव : प्रदेश भर के विद्यार्थियों के बारे में सरकार जानकारी जुटाना चाहती है। ऐस
जागरण संवाददाता, गुड़गांव : प्रदेश भर के विद्यार्थियों के बारे में सरकार जानकारी जुटाना चाहती है। ऐसे में इन विद्यार्थियों का एक डेटाबेस तैयार होगा जिसकेमाध्यम से विद्यार्थियों की शिक्षा की स्थिति के बारे में अनुमान लग सकेगा। इससे जानकारी मिलेगी कि प्रदेश में स्कूली शिक्षा के बाद उच्चतर शिक्षा तक कितने विद्यार्थी पहुंच पाते हैं। उन विद्यार्थियों की संख्या के बारे में विभाग जानकारी जुटाना चाहता है जो उच्चतर शिक्षा से वंचित रह जाते हैं। ऐसे में इनके आंकड़े को पता लगाकर सरकार विद्यार्थियों को उच्चतर शिक्षा से जोड़ने के व्यापक प्रयास करेगा।
इस डेटाबेस के लिए प्रत्येक कालेज को एक महीने के अंदर अपने विद्यार्थियों का आधार कार्ड भेजने को कहा गया है। आधार कार्ड नहीं होने पर एनरोलमेंट नंबर भेजना होगा। दो वर्षो से प्रदेश भर के सरकारी कालेजों में आधार कार्ड के लिए मुहिम चल रही है। विद्यार्थियों के आधार कार्ड कालेजों में ही बनवाए जा रहे हैं। इसके अलावा सभी तरह की छात्रवृति योजनाओं के लिए भी आधार कार्ड जरूरी कर दिया गया है। ऐसे में सरकारी कालेजों का डेटा एकत्र करने में अधिक परेशानी नहीं है, लेकिन निजी कालेजों की परेशानिया बढ़ गई हैं। निजी कालेजों ने फिलहाल इस तरह की पहल नहीं है। एमडीयू (महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय) के रजिस्ट्रार एसपी वत्स ने बताया कि सभी कालेजों को यह डेटा एक महीने के भीतर उपलब्ध कराना है, ताकि इसे उच्चतर शिक्षा विभाग को भेजा जा सके। सभी कालेजों व शिक्षण संस्थानों को यह जानकारी दे दी गई है।
निजी कालेजों में विद्यार्थी को मोटी फीस के डर से दाखिला नहीं ले पाते। ऐसे में जिले में भी हर साल हजारों विद्यार्थी उच्चतर शिक्षा से वंचित रह जाते हैं। ऐसे में सरकार विभिन्न कारणों को जानने के बाद विद्यार्थियों को उच्चतर शिक्षा से जोड़ने के लिए नई योजनाएं बना सकती है। अगर ऐसा होता है तो आने वाले समय में कालेज, कालेजों में सीटों व कोर्सो की संख्या आदि को बढ़ाने पर काम किया जाएगा।