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प्रादेशिक, जागरण विशेष : अब सीबीएसई स्कूलों में निशक्तों के पढ़ने की राह होगी आसान

- अलग से स्कूलों को बनाना होगा निशक्तों के लिए पाठ्यक्रम - दाखिले के लिए लगेंगे अलग से हेल्प डेस्क

By Edited By: Published: Wed, 27 May 2015 08:06 PM (IST)Updated: Wed, 27 May 2015 08:06 PM (IST)
प्रादेशिक, जागरण विशेष : अब सीबीएसई स्कूलों में निशक्तों के पढ़ने की राह होगी आसान

- अलग से स्कूलों को बनाना होगा निशक्तों के लिए पाठ्यक्रम

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- दाखिले के लिए लगेंगे अलग से हेल्प डेस्क

- कक्षाओं में बैठने के लिए होंगी अलग व्यवस्था

रोहित गेरा, भिवानी

देशभर के केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड से संबंधित स्कूलों में दाखिले के लिए सपना संजोय बैठे हुए निशक्तों के लिए राहत भरी खबर है, क्योंकि अब उन्हें दाखिले के समय किसी भी तरह की कोई परेशानी नहीं झेलनी पड़ेगी। साथ ही उन्हें पढ़ने के दौरान भी स्कूल में दो-चार नहीं होना पड़ेगा। इसको लेकर बोर्ड द्वारा सीबीएसई स्कूलों को इस सत्र के लिए गाइड लाइन जारी की गई है। स्कूलों को भेजे गए पत्र के अनुसार दाखिले के दौरान स्कूलों को निशक्तों के लिए अलग से हेल्प डेस्क लगाने होंगे। साथ ही स्कूल संचालकों को उनके कक्षा में बैठने के लिए उनके लिए अलग से व्यवस्था करनी होगी। इतना ही नहीं उन्हें स्कूल में किसी भी तरह की कोई परेशानी न हो इसको लेकर एक विशेष समिति का गठन करना होगा। उक्त समिति की जिम्मेदारी स्वयं स्कूल के प्रधानाचार्य के कंधों पर होगी। समिति में निशक्तों के अभिभावकों को भी शामिल किया जाएगा। पत्र के मिलते ही स्कूलों ने इस ओर अपने कदम बढ़ाने शुरू कर दिए हैं। बोर्ड की इस पहल से कहीं न कहीं स्कूलों में निशक्तों के पढ़ने की राह आसान होगी। दरअसल, कुछ समय से बोर्ड को विभिन्न स्कूलों की शिकायतें मिल रही थी कि स्कूलों में निशक्तों के लिए बेहतर व्यवस्था न होने के कारण वे स्कूल छोड़ जाते है और सीबीएसई से संबंधित स्कूलों से गुरेज करते हैं। तत्पश्चात ही बोर्ड ने यह फैसला लेते हुए नई गाइड लाइन जारी की है। कहीं न कहीं बोर्ड द्वारा उठाया गया यह कदम निशक्तों के लिए एक वरदान से कम नहीं होगा।

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अलग से बनाना होगा पाठ्यक्रम

पत्र में बोर्ड द्वारा स्कूलों को यह भी आदेश दिए गए है कि वे इस सत्र से निशक्तों के लिए अलग से पाठ्यक्रम बनाए, ताकि उन्हें पढ़ने में किसी भी तरह की कोई दिक्कतें न हो। स्कूलों को यह भी निर्देश दिए गए है कि वे दूसरे बच्चों की तुलना में निशक्त बच्चों पाठ्यक्रम आसान तैयार करे। जिससे सीबीएसई के स्कूलों में निशक्त विद्यार्थियों की संख्या में इजाफा हो सके और वे बेहतर शिक्षा ग्रहण कर सके।

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स्कूलों को अलग से रखने होंगे टीचर

हलवासिया विद्या विहार स्कूल के कार्यकारी निदेशक र¨वद्र सैनी का कहना है कि उन्हें दाखिलों से पूर्व सीबीएसई द्वारा जारी की गई गाइड लाइन का पत्र मिल चुका है। उन्होंने इस दिशा में अपने कदम बढ़ाने शुरू कर दिए है। वह कहते है कि सीबीएसई द्वारा स्कूलों को यह भी निर्देश दिए गए है कि निशक्त बच्चों को पढ़ाने के लिए उनके लिए अलग से टीचरों की व्यवस्था की जाए, जो कि उन्हें करीब से समझते हुए पढ़ा सके।


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