MP Chunav 2018: अब भाजपा और कांग्रेस का खेल बिगाड़ेगी सपाक्स
MP Chunav 2018 वर्तमान में पार्टी के टिकट पर 109 प्रत्याशी चुनाव लड़ रहे हैं। उनमें से एक दर्जन प्रत्याशी अपने प्रतिद्वंदियों के लिए परेशानी बन रहे हैं।
भोपाल, नइदुनिया स्टेट ब्यूरो। सभी विधानसभा सीटों पर प्रत्याशी उतारने में असफल रही सपाक्स पार्टी अब भाजपा और कांग्रेस का खेल बिगाड़ेगी। पार्टी ने भाजपा और कांग्रेस के बागियों सहित निर्दलीय प्रत्याशियों को समर्थन देना तय किया है। निर्दलीयों को उन सीटों पर समर्थन दिया जाएगा, जिन से पार्टी प्रत्याशी घोषित नहीं कर पाई है। पार्टी ने दमोह और पथरिया से चुनाव लड़ रहे भाजपा के बागी रामकृष्ण कुसमरिया को समर्थन देने का ऐलान किया है।
पार्टी ने सभी 230 सीटों से प्रत्याशी उतारने की घोषणा की थी, लेकिन मान्यता नहीं मिलने के कारण रिटायर्ड आईएएस, आईपीएस सहित पार्टी में आस्था जताने वाले दूसरे दलों के नेता भी कन्नी काट गए। बावजूद इसके पार्टी ने 138 प्रत्याशी उतारे। जिसमें से 29 के नाम निर्देशन पत्र अमान्य हो गए। वर्तमान में पार्टी के टिकट पर 109 प्रत्याशी चुनाव लड़ रहे हैं। उनमें से एक दर्जन प्रत्याशी अपने प्रतिद्वंदियों के लिए परेशानी बन रहे हैं। अब पार्टी ने तय किया है कि शेष सीटों पर भी वह सपाक्स की विचारधारा को भुनाएगी। इसके लिए पार्टी ने भाजपा और कांग्रेस के बागी प्रत्याशियों और निर्दलीय प्रत्याशियों को समर्थन देने का फैसला किया है।
भाजपा से 63 बागी मैदान में
चौथी बार प्रदेश में सरकार बनाने की कोशिशों में जुटी भाजपा के 63 बागी मैदान में हैं। जबकि 10 सीटों पर बागी निर्णायक भूमिका में नजर आ रहे हैं। वहीं, कांग्रेस से भी 16 बागी सक्रिय हैं। सपाक्स इन प्रत्याशियों को अपनी ही पार्टी के खिलाफ मजबूती दिखाने में मदद करेगी। पार्टी ने तय किया है कि जिन सीटों पर उसके प्रत्याशी नहीं हैं, वहां पार्टी का संगठन बागियों को समर्थन देगा और जरूरत पड़ी तो खुलकर काम करेगा।
पैसे नहीं हैं, मौखिक प्रचार होगा
सपाक्स के प्रत्याशियों के पास चुनावी प्रचार पर खर्च करने के लिए पैसे नहीं हैं। इसे लेकर पार्टी प्रत्याशियों की कोई मदद भी नहीं कर रही है। ऐसे में प्रत्याशी अपने खर्च पर चुनाव लड़ रहे हैं। वहीं पार्टी ने प्रचार के लिए अपनी रणनीति भी जारी कर दी है। इसके तहत जिलों व विधानसभा क्षेत्रों में सक्रिय पार्टी संगठन मौखिक प्रचार करेगा। स्थानीय स्तर पर प्रत्याशी अपनी क्षमता के मुताबिक प्रचार कर सकते हैं।
इनका कहना है
जो हमारी विचारधारा से सहमत हैं, उसे हम समर्थन दे रहे हैं। कुछ सीटों पर निर्दलीयों ने सहयोग मांगा है। जबकि कुछ सीटों पर भाजपा-कांग्रेस के बागियों से भी बात हुई है - डॉ. हीरालाल त्रिवेदी, अध्यक्ष, सपाक्स