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स्कूल के छात्र ने ही की थी प्रद्युम्न की हत्या, पिता बोले- सामने आएगा पूरा सच

प्रद्युमन की हत्या रेयान स्कूल में पढ़ने वाले 11वीं के छात्र ने की थी। सीबीआइ का कहना है कि पढ़ाई में कमजोर आरोपी छात्र ने पीटीएम और परीक्षा रुकवाने के उद्देश्य से हत्याकांड को अंजाम दिया था।

By Amit MishraEdited By: Published: Wed, 08 Nov 2017 07:37 PM (IST)Updated: Thu, 09 Nov 2017 07:19 AM (IST)
स्कूल के छात्र ने ही की थी प्रद्युम्न की हत्या, पिता बोले- सामने आएगा पूरा सच
स्कूल के छात्र ने ही की थी प्रद्युम्न की हत्या, पिता बोले- सामने आएगा पूरा सच

नई दिल्ली [जेएनएन]। गुरुग्राम के रेयान इंटरनेशनल स्कूल के छात्र प्रद्युम्न ठाकुर की हत्या की गुत्थी सुलझाते हुए इसी स्कूल के 11वीं के एक छात्र को हिरासत में लिया है। सीबीआइ का कहना है कि पढ़ाई में कमजोर आरोपी छात्र ने पैरेंट्स-टीचर्स मीटिंग (पीटीएम) और परीक्षा रुकवाने के उद्देश्य से हत्या की थी।

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जुविनाइल जस्टिस कोर्ट ने सीबीआइ को तीन दिन तक आरोपी किशोर से पूछताछ करने की इजाजत दी है। ध्यान देने की बात है कि इसके पहले इस मामले में गुरुग्राम पुलिस ने बस कंडक्टर अशोक कुमार को आरोपी बताते हुए गिरफ्तार किया था।

सीबीआइ के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि आरोपी छात्र तक पहुंचने के पहले जांच एजेंसी ने हत्या से जुड़े सभी साक्ष्यों का वैज्ञानिक और फारेंसिक जांच कराने, सीसीटीवी फुटेज की गहराई से विश्लेषण करने के साथ-साथ 125 से अधिक छात्रों, शिक्षकों और स्कूल स्टाफ से पूछताछ की थी।

कॉल डिटेल का विश्लेषण किया गया

अधिकारी ने कहा कि इस सिलसिले में सैंकड़ों मोबाइल फोन के कॉल डिटेल का भी विश्लेषण किया गया। इस बीच आरोपी छात्र से चार बार पूछताछ की गई। चौथी बार पूछताछ के बाद मंगलवार की रात को 11.30 बजे आरोपी छात्र को हिरासत में ले लिया गया। छात्र के किशोर होने के कारण उसके पिता को भी रात भर सीबीआइ मुख्यालय में उसके साथ ही रखा गया।

सुबह 10 बजे से पांच तक पूछताछ कर सकेगी सीबीआइ 

बुधवार को सीबीआइ ने आरोपी छात्र को जुविनाइल जस्टिस कोर्ट में पेश किया और छह दिन तक पूछताछ करने की इजाजत मांगी। लेकिन अदालत ने जांच एजेंसी को तीन तक पूछताछ करने की इजाजत दी। इस दौरान सीबीआइ उससे केवल सुबह 10 बजे से पांच तक पूछताछ कर सकेगी।

पूछताछ के दौरान बाल सुधार गृह की ओर एक महिला भी मौजूद रहेगी। पूछताछ पूरी होने के बाद आरोपी छात्र रात को बाल सुधार गृह में रहेगा। सीबीआइ ने दावा किया है कि आरोपी छात्र के नाबालिग होने के कारण जुविनाइल जस्टिस एक्ट के सभी दिशानिर्देशों का पालन किया गया है। यही कारण है सीबीआइ आरोपी छात्र की पहचान नहीं बता रही है।

किसी को क्लीन चिट नहीं दी गई है, जांच जारी 

सीबीआइ के वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि इस मामले में किसी को क्लीन चिट नहीं दी गई है और जांच अब भी जारी है। लेकिन साथ ही उन्होंने स्वीकार किया कि गुरुग्राम पुलिस ने जिस बस कंडक्टर अशोक कुमार को गिरफ्तार किया था, उसके खिलाफ सीबीआइ को कोई सबूत नहीं मिला है। यानी सीबीआइ ने एक तरह से गुरुग्राम  पुलिस की जांच को खारिज कर दिया है।

सीबीआइ ने खारिज की यौन उत्पीड़न की थ्योरी 

गुरुग्राम पुलिस ने न सिर्फ अशोक गिरफ्तार किया, बल्कि उसके अपराध स्वीकार करने का भी दावा किया था। लेकिन सबसे बड़ा सवाल यह है कि यदि सीसीटीवी फुटेज में आरोपी छात्र बाथरूम, जहां हत्या हुई थी, से निकलता दिख रहा है, तो गुरुग्राम पुलिस ने इसकी गहरराई से जांच क्यों नहीं की। यही नहीं, गुरुग्राम पुलिस ने हत्या के पीछे कारण यौन उत्पीड़न की कोशिश बताया था। लेकिन सीबीआइ ने ऐसी किसी कोशिश से इन्कार किया है।

वरुण ठाकुर ने सीबीआइ की जांच पर जताया भरोसा 

अशोक कुमार के आरोपी मानने से इनकार करने और मामले की सीबीआइ जांच करने की मांग करने वाले प्रद्युमन के पिता वरुण ठाकुर ने सीबीआइ की जांच पर भरोसा जताया है। पर साथ ही इसमें स्कूल प्रबंधन की संलिप्तता की जांच की भी मांग की है। वहीं आरोपी के पिता अपने बेटे पर लगे आरोपों को सिरे से खारिज कर रहे हैं।

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