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डीयू में नहीं मैनेजमेंट कोटा

राज्य ब्यूरो, नई दिल्ली : दिल्ली विश्वविद्यालय में यदि कोई व्यक्ति आपको मैनेजमेंट कोटे के तहत दाखिला

By Edited By: Published: Mon, 18 May 2015 07:44 PM (IST)Updated: Mon, 18 May 2015 07:44 PM (IST)
डीयू में नहीं मैनेजमेंट कोटा

राज्य ब्यूरो, नई दिल्ली : दिल्ली विश्वविद्यालय में यदि कोई व्यक्ति आपको मैनेजमेंट कोटे के तहत दाखिला कराने का आश्वासन देता है तो सावधान हो जाइए क्योंकि डीयू का कोई भी कॉलेज मैनेजमेंट कोटे के तहत दाखिला नहीं देता है।

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डीयू में प्रवेश प्रक्रिया शुरू होने से पहले ही दाखिला दिलाने के नाम पर ठगी करने वाले सक्रिय हो जाते हैं। कई अभिभावक हर हाल में अपने बच्चों का दाखिला डीयू में कराना चाहते हैं। दलाल उन्हें मनचाहे कॉलेज में दाखिला कराने का आश्वासन देते हैं। वह अभिभावकों को यह कहकर बरगलाते हैं कि कॉलेज के मैनेजमेंट कोटे के तहत वह उनके बच्चे का दाखिला करा देंगे लेकिन यह पूरी तरह झूठ है। विगत वर्ष विश्वविद्यालय के कुछ प्रतिष्ठित कॉलेजों में फर्जी दाखिले संबंधी मामले सामने आने के बाद अब कॉलेज अभिभावकों को आगाह करने लगे हैं। आत्माराम सनातन धर्म कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. ज्ञानतोष झा का कहना है कि हमारे यहां दाखिले के समय जागरूक अभिभावक पूछते हैं कि कटऑफ लिस्ट में नहीं आने के बाद क्या कॉलेज मैनेजमेंट कोटे का विकल्प भी रखता है? इस पर हम उन्हें साफ मना कर देते हैं। उनके अनुसार, कई अभिभावकों ने बताया कि कुछ लोग दावा करते हैं कि यह कॉलेज मैनेजमेंट कोटे के तहत दाखिला देता है। रामजस कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. राजेंद्र प्रसाद का कहना है कि कॉलेज पारदर्शी दाखिला प्रक्रिया शुरू करने के लिए प्रतिबद्ध है। हमारे एक्सपर्ट अंक पत्र व सभी प्रमाणपत्र की काफी ध्यान से जांच करते हैं और इसके बाद ही किसी छात्र-छात्रा को दाखिला दिया जाता है। दाखिले के दौरान सबसे अधिक शिकायत फर्जी प्रमाणपत्रों के इस्तेमाल की आती है। अंक पत्र से लेकर जाति प्रमाणपत्र फर्जी लगाए जाते हैं। अंक पत्रों की जांच के लिए तो अब संबंधित बोर्ड से सीडी मंगाई जाती है लेकिन जाति प्रमाणपत्र की जांच देर से हो पाती है। खेल कोटे के माध्यम से भी फर्जी दाखिले के मामले सामने आ चुके हैं।

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'हम अभिभावकों को यह बताना चाहते हैं कि दिल्ली के किसी भी कॉलेज में मैनेजमेंट कोटा नहीं है। इसलिए अभिभावक मैनेजमेंट कोटे के नाम पर धोखा न खाएं और दलालों के चंगुल में न फंसें। कॉलेज हर स्तर पर प्रमाणपत्रों की जांच करेगा और इसके बाद ही किसी को दाखिला देगा।

-डॉ. जीएम खुराना (डीन, स्टूडेंट वेलफेयर, डीयू)


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