बांग्लादेश ने दिया आलोचकों को करारा जवाब
तीन मैचों की सीरीज में बांग्लादेश की दक्षिण अफ्रीका पर जीत से उन लोगों के मुंह से बंद हो गए होंगे, जो भारत व पाकिस्तान पर उनकी जीत को तुक्का मान रहे थे। पहले मैच में वे जरूर लड़खड़ा गए, लेकिन फिर से उन्होंने अपने खेल के स्तर को उठाया
(सुनील गावस्कर का कॉलम)
तीन मैचों की सीरीज में बांग्लादेश की दक्षिण अफ्रीका पर जीत से उन लोगों के मुंह से बंद हो गए होंगे, जो भारत व पाकिस्तान पर उनकी जीत को तुक्का मान रहे थे। पहले मैच में वे जरूर लड़खड़ा गए, लेकिन फिर से उन्होंने अपने खेल के स्तर को उठाया और अगले दोनों मैच आसानी से जीत लिए।
हालांकि बांग्लादेश पर भरोसा नहीं करने वाले अब यह कहने लगे हैं कि उन्हें विदेशी जमीन पर जीतना चाहिए। लेकिन जो यह कह रहे हैं उन्हें दूसरी टीमों का प्रदर्शन भी देख लेना चाहिए। सिर्फ वेस्टइंडीज टीम ने 1970 से 1990 के बीच और ऑस्ट्रेलियाई टीम ने 1990 से 2005 तक घर से बाहर जीत दर्ज की। अन्य टीमों ने भी विदेशी धरती पर मैच जीते, लेकिन इन सर्वकालिक महान टीमों की तरह उनका प्रदर्शन नियमित नहीं रहा। इसलिए सिर्फ बांग्लादेश की काबिलियत पर सवाल उठाना क्रिकेट नहीं है।
उन्हें तेज गेंदबाज मुस्तफिजुर के रूप में एक शानदार खिलाड़ी मिल गया है और अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट के दूसरे सत्र में वह कैसा प्रदर्शन करते हैं, यह देखना काफी अहम होगा। पहले सत्र में खिलाड़ी अनजान होता है, इसलिए विपक्षी टीम को उसका कमजोर और मजबूत पक्ष तलाशने में समय लगता है। लेकिन दूसरे सत्र तक विपक्षी टीम के कप्तान और कोच अपना होमवर्क कर चुके होंगे। उम्मीद है जब चीजें मुस्तफिजुर के पक्ष में नहीं भी रहेंगी, तो भी टीम प्रबंधन उनका हौसला बढ़ाएगा ताकि वह मजबूती के साथ वापसी कर सकें और अपने देश के लिए विकेट हासिल कर सकें।
(पीएमजी)