जब पंजाब पुलिस ने नहीं दी थी इस भारतीय स्टार महिला क्रिकेटर को नौकरी
जब पंजाब पुलिस ने इस स्टार महिला क्रिकेटर को कहा क्या आप हरभजन सिंह हो जो आपको नौकरी दे दें।
नई दिल्ली। भारतीय महिला क्रिकेट टीम की स्टार बल्लेबाज हरमनप्रीत कौर की वो पारी जो उन्होंने महिला विश्व कप सेमीफाइनल में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ खेली थी उसे शायद ही क्रिकेट के इतिहास में भुलाया जा सकेगा। हरमनप्रीत की नाबाद 171 रन की पारी के दम पर भारतीय टीम ने वर्ल्ड कप के फाइनल में जगह बनाई थी लेकिन इस स्टार खिलाड़ी को एक वक्त पर ऐसी परिस्थिति का सामना करना पड़ा जिसके बारे में जानकर आप दंग रह जाएंगे।
ये बात वर्ष 2010-11 की है जब हरमनप्रीत को नौकरी की सख्त जरूरत थी। उन्होंने पुलिस में नौकरी के लिए अर्जी दी लेकिन उनकी इस विनती को नकार दिया गया। इसके बारे में हरमनप्रीत के कोच यादविंदर सिंह सोढ़ी ने बताया कि जब उनकी नौकरी के लिए पंजाब पुलिस से संपर्क किया गया तो हमें बताया गया कि यहां पर महिला क्रिकेटरों को नौकरी देने का कोई प्रावधान नहीं है। उस वक्त हरमनप्रीत भारतीय महिला टीम की सदस्य थीं। यही नहीं पंजाब पुलिस के एक आला अधिकारी ने हमें कहा कि वो कोई हरभजन सिंह तो हैं नहीं कि उन्हें हम डीएसपी बना दें। हरमनप्रीत को इंस्पेक्टर तक नहीं बनाया गया। इस मामले को लेकर हमने मुख्यमंत्री से भी मुलाकात की लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ।
हरमनप्रीत के पिता ने अपना दर्द बयां करते हुए करते हुए कहा कि वो 2009 से भारतीय महिला क्रिकेट टीम के लिए खेल रही हैं लेकिन किसी से हमें कोई सहायता नहीं मिली। पंजाब सरकार ने भी उनकी उपलब्धि को नकार दिया हालांकि वो उन्हें नौकरी तो दे ही सकती थी।
आखिरकार हरमनप्रीत को नौकरी पूर्व क्रिकेटर और राज्यसभा सांसद सचिन तेंदुलकर की सिफारिश पर मिली। वो फिलहाल पश्चिम रेलवे में काम करती हैं। सुप्रीम कोर्ट द्वारा नियुक्त प्रशासक कमिटी की सदस्य डायना एडुलजी ने कहा कि उन्होंने सचिन तेंदुलकर से हरमनप्रीत के बारे में बात की थी और फिर उन्होंने रेलमंत्री को हरमनप्रीत की नौकरी की सिफारिश करते हुए पत्र लिखा था।