बीच मैदान में चोरी हुआ धौनी की टीम का सामान, कुछ इस तरह हुई चोरी
फिरोजशाह कोटला स्टेडियम में शनिवार को झारखंड और बंगाल के बीच हुए विजय हजारे ट्रॉफी के सेमीफाइनल मुकाबले के दौरान झारखंड टीम की ट्रेनिंग किट डग आउट से गायब हो गई।
नई दिल्ली , अभिषेक त्रिपाठी। जिस मैच में महेंद्र सिंह धौनी खेल रहे हों, उसमें मैच के दौरान मैदान के भीतर से टीम की ट्रेनिंग किट गायब हो जाए तो सवाल उठना लाजमी है। फिरोजशाह कोटला स्टेडियम में शनिवार को झारखंड और बंगाल के बीच हुए विजय हजारे ट्रॉफी के सेमीफाइनल मुकाबले के दौरान झारखंड टीम की ट्रेनिंग किट डग आउट (बाउंड्री के पास जहां टीम बैठती है) से गायब हो गई, जिससे धौनी और उनकी टीम बेहद नाराज हैं।
झारखंड टीम के मैनेजर पीएन सिंह ने कहा कि अगर मैच के दौरान मैदान के अंदर से किसी टीम का सामान चोरी हो जाता है तो सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल तो उठेंगे ही। सामान तो चोरी हुआ ही लेकिन उससे ज्यादा खराब आयोजक दिल्ली एवं जिला क्रिकेट संघ (डीडीसीए) के अधिकारियों का रवैया था। मैंने एंटी करप्शन ऑफीसर मनोज चौधरी और पूर्व कोषाध्यक्ष रवींद्र मनचंदा सहित कई लोगों से इसकी शिकायत की, लेकिन उन्होंने इसकी जिम्मेदारी लेने से ही मना कर दिया। उन्होंने कहा कि सामान गायब होने की जिम्मेदारी हमारी नहीं है।
अब आप बताइये कि हम मैच खेलते या सामान की चौकीदारी करते। टीम ने सैकड़ों मैच खेले लेकिन कभी ऐसी घटना नहीं हुई। अगर बीसीसीआइ के टूर्नामेंट में डीडीसीए सुरक्षा व्यवस्था नहीं कर सकता था तो उसे मैच आयोजित करने के लिए तैयार ही नहीं होना चाहिए था। अगर रविवार तक किट नहीं मिली तो मैं इसकी शिकायत डीडीसीए के प्रशासक पूर्व न्यायधीश विक्रम सेन से करूंगा।
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डीडीसीए के सूत्रों का कहना है कि इस समय डीडीसीए के कई लोग सिर्फ अपने लोगों को सेट करने में लगे हैं। दोनों ही टीमों की सुरक्षा व्यवस्था को खतरे में डाला गया। मैच के दौरान ऐसा लग ही नहीं रहा था कि डीडीसीए ने इस मुकाबले के लिए कोई तैयारी की थी। यह मैच शुक्रवार को पालम स्टेडियम में होना था। जिस होटल में झारखंड टीम ठहरी थी उसके परिसर में आग लगने के कारण यह मैच नहीं हो सका जिसके बाद इसे शनिवार को फिरोजशाह कोटला स्टेडियम में स्थानांतरित कर दिया।