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मिनी स्टील इंडस्ट्रीज को स्क्रैप इंपोर्ट करने की मिली परमीशन

केंद्र सरकार ने मिनी स्टील उद्योगों को कच्चे माल के रूप में स्क्रैप को आयात करने की अनुमति दे दी है। केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय से सम्बद्ध विदेश व्यापार महानिदेशालय ने विदेशों से समुद्र के रास्ते जहाजों के माध्यम से स्क्रैप को आयात करने की अनुमति दे दी है। छत्तीसगढ़ के सीएम डॉ. रमन सिंह लंबे समय से केंद्र सरकार से छत्तीसगढ़ के मिनी स्टील उद्योगों को हो रही दिक्कत के बारे में बातचीत कर रहे थे।

By Bhupendra SinghEdited By: Published: Tue, 11 Oct 2016 05:18 AM (IST)Updated: Tue, 11 Oct 2016 05:27 AM (IST)
मिनी स्टील इंडस्ट्रीज को स्क्रैप इंपोर्ट करने की मिली परमीशन

रायपुर। केंद्र सरकार ने मिनी स्टील उद्योगों को कच्चे माल के रूप में स्क्रैप को आयात करने की अनुमति दे दी है। केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय से सम्बद्ध विदेश व्यापार महानिदेशालय ने विदेशों से समुद्र के रास्ते जहाजों के माध्यम से स्क्रैप को आयात करने की अनुमति दे दी है। छत्तीसगढ़ के सीएम डॉ. रमन सिंह लंबे समय से केंद्र सरकार से छत्तीसगढ़ के मिनी स्टील उद्योगों को हो रही दिक्कत के बारे में बातचीत कर रहे थे।
केंद्र सरकार ने पब्लिक नोटिस जारी करके स्क्रैप को इंपोर्ट करने की अनुमति दे दी। छत्तीसगढ़ में लगभग 150 मिनी स्टील प्लांट हैं। मिनी स्टील इंडस्ट्री को स्क्रैप के इंपोर्ट खुलने से लांग टर्म में फायदा हो सकता है। जब इंटरनेशनल मार्केट डाउन रहेगा तब यहां के कारोबारी स्क्रैप का इंपोर्ट तत्काल प्रभाव से करेंगे। अभी इंटरनेशनल मार्केट अप है। इसका फायदा अभी नहीं मिल सकता है, लेकिन मार्केट अप-डाउन होता रहता है। चूंकि छत्तीसगढ़ स्पंज आयरन का हब है, इसलिए कच्चे माल की आवक काफी अच्छी रहती है। लेकिन डोमेस्टिक मार्केट अप होने पर आवक कम हो जाती है, ऐसे में कच्चे माल की जरुरत स्टील प्लांट मालिकों को होती है।
भारत में दुबई से सबसे ज्यादा स्क्रैप का आयात होता है। मगर पोर्ट में आने के बाद वहां से गाड़ियों से स्क्रैप लाने पर काफी वह काफी महंगा हो जाता था। दुबई के अलावा, सिंगापुर, साउथ अफ्रीका, लंदन, ब्राजील, अरब, आदि देशों से स्क्रैप आता है। स्क्रैप कच्चे माल के रूप में उपयोग होता है। स्क्रैप को मेल्ट करके इंगट अौर बिलेट बनाया जाता है। अंतिम उत्पाद के रूप में टीएमटी की छड़ व चेनल बनती है।
सीएम ने लिखा था पत्र
हाल ही में सीएम डा. रमन सिंह ने केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योेग मंत्री निर्मला सीतारमण को पत्र लिख स्क्रैप के आयात की अनुमति के लिए आग्रह किया था। दो माह पहले रायपुर में माइनिंग कानक्लेव में भी सीएम सिंह यह मांग रख चुके थे। सीएम डॉ. सिंह ने इससे पहले प्रधानमंत्री मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह, केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली से भी इस बारे में आग्रह कर चुके थे।
बड़ी पहल :
राज्य सरकार ने बीते तीन से चार माह में मिनी प्लांट्स को नया जीवन देने कई रिवाइवल फैसले किए हैं। पहले बंद पड़े प्लांट्स को शुरू करने को एक मुश्त भुगतान पर छूट और फिर बिजली की दरों में भी बड़ी रियायत दी जा चुकी है।
14 बंदरगाहों को किया गया नामांकित
विदेश व्यापार महानिदेशालय ने देश के 14 बंदरगाहों से 31 मार्च 2017 तक स्क्रैप को आयात करने की अनुमति दी है। इनमें चेन्नई, कोचिन, इन्नोर, जेएनपीटी, कांडला, मोरमुगाओ, मुम्बई, न्यू मेंगलोर, पारादीप, तूतीकोरिन, विशाखापटनम, पिपावा, मुंदरा और कोलकाता के बंदरगाह शामिल है।
इन बंदरगाहों को रेडिएशन पोर्टल मॉनिटर और कंटेनर स्कैनर लगाने तथा अन्य तकनीकी सुरक्षा मानकों का पालन करने की शर्त पर यह अनुमति दी गई है।
अधिसूचना के अनुसार इसके लिए अनश्रेडेड स्क्रैप आयात की प्रक्रिया से संबंधित नियमों मेें एक नया पैराग्राफ-2.54 जोड़ा गया है।

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