ऑस्ट्रेलिया के डेलिगेशन ने अडाणी से कहा, छोड़ दें कोयला खनन परियोजना
ऑस्ट्रेलिया के एक डेलिगेशन ने अडाणी ग्रुप से पत्र के जरिए अपील कर कहा कि वे 21 अरब डालर की खनन परियोजना को छोड़ दें
नई दिल्ली: ऑस्ट्रेलिया के एक डेलिगेशन ने गुरुवार को अडाणी ग्रुप से अपील की है कि वो अपनी 21 अरब डालर की खनन परियोजना को छोड़ दें। यह अपील एक पत्र के जरिए की गई है। इस डेलिगेशन ने अपने पत्र में प्रस्तावित परियोजना को लेकर लोगों के विरोध, खननकर्मियों के स्वास्थ्य को जोखिम, जलवायु परिवर्तन तथा ग्रेट बेरियर रीफ पर संभावित असर जैसे कारणों का हवाला देते हुए अपील की है कि कंपनी इस परियोजना पर काम नहीं करे।
चार सदस्यीय इस डेलिगेशन में व्यापारी ज्योफ क्यूसिन, रीफ पर्यटन ऑपरेटर लिंडसे सिम्पसन, क्वींसलैंड के किसान ब्रूस करी और संरक्षणवादी इमोजेन जेथोवेन शामिल हैं। इन्होंने कंपनी के कॉर्पोरेट संचार विभाग के अधिकारियों को अपना पत्र सौंप दिया है। इस पत्र के माध्यम से कंपनी के अध्यक्ष और संस्थापक गौतम अदानी से अनुरोध किया गया है कि वे क्वींसलैंड में कार्मिकेल कोयला खदान परियोजना को छोड़ दें और अक्षय ऊर्जा में निवेश करें। साथ ही इस पत्र में कहा गया है कि यह परियोजना द्विपक्षीय संबंधों को नुकसान पहुंचा सकती है और खेल संबंधों पर भी असर डाल सकती है।
क्या कहना है अडाणी ग्रुप का:
अडाणी ग्रुप के प्रवक्ता ने इस पत्र को 76 भ्रमित लोगों के छोटे समूह द्वारा की गई पहल बताया है। प्रवक्ता का कहना है कि ऑस्ट्रेलिया में इस परियोजना को कड़े आकलनों और कठोर शर्तों के बाद मंजूर किया गया।