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बीडीओ व नियोजन इकाई ने अपीलीय प्राधिकार के आदेश को दिखाया अंगूठा

वैशाली। सहदेई बुजुर्ग प्रखंड के मध्य विद्यालय तोई मठ के शिक्षकों के तबादले को लेकर उठा।

By JagranEdited By: Published: Wed, 28 Jun 2017 05:24 PM (IST)Updated: Wed, 28 Jun 2017 05:24 PM (IST)
बीडीओ व नियोजन इकाई ने अपीलीय प्राधिकार के आदेश को दिखाया अंगूठा
बीडीओ व नियोजन इकाई ने अपीलीय प्राधिकार के आदेश को दिखाया अंगूठा

वैशाली। सहदेई बुजुर्ग प्रखंड के मध्य विद्यालय तोई मठ के शिक्षकों के तबादले को लेकर उठा विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। एक ओर स्थानीय अधिकारी जिला अपीलीय प्राधिकार के आदेश को मानने को तैयार नजर नहीं आते, वहीं दूसरी ओर शिक्षक संगठनों ने उस जांच रिपोर्ट पर ही सवाल उठा दिया है जिसके आधार पर यह कार्रवाई की गई है।

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जिला अपीलीय प्राधिकार की ओर से तोई मठ स्थित मध्य विद्यालय के पांच शिक्षकों के तबादला आदेश को रद्द करने के बाद भी बीडीओ द्वारा इन सभी शिक्षकों को विद्यालय से विरमित करने के बाद विवाद और गहरा गया है।

जानकारी के अनुसार लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी महनार के द्वारा गत 11 जनवरी 2017 को दिए गए एक आदेश एवं सहदेई बुजुर्ग के पशुपालन पदाधिकारी और प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी की जांच रिपोर्ट के बाद मध्य विद्यालय तोई मठ के सभी शिक्षकों का तबादला प्रखंड नियोजन समिति ने कर दिया था। इसके बाद स्थानानंतरण आदेश के विरुद्ध विद्यालय के शिक्षक मुकेश कुमार, माधुरी भारती, रूबी कुमारी, ¨पकी कुमारी और सुनीता कुमारी ने जिला अपीलीय प्राधिकार में वाद दायर कर अपने स्थानानंतरण आदेश को चुनौती दी थी। अपीलीय प्राधिकार ने तुरंत बीडीओ की ओर से निर्गत स्थानानंतरण आदेश पर रोक लगा दी। इस आदेश के आलोक में इन पांचों शिक्षकों ने मध्य विधालय तोई मठ में कार्य करना जारी रखा। इसके बाद गत 23 मार्च को अपीलीय प्राधिकार के आदेश को बहाल करने का आदेश जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (स्थापना) ने भी बीडीओ को दिया। लेकिन इन सारे आदेशों को धत्ता बताते हुए बीडीओ ने इन पांचों शिक्षकों पर उनके आदेश की अवहेलना का आरोप लगाते हुए गत 30 मई 2017 को विद्यालय में बने रहने के संबंध में स्पष्टीकरण जारी कर पूछताछ की। तब तक इन पांचों शिक्षकों द्वारा जिला अपीलीय प्राधिकार वाद के दिए आदेश के आलोक में गत 6 मई 2017 को प्रखंड नियोजन समिति के आदेश को दरकिनार कर विद्यालय में काम करना जारी रखा गया था। लेकिन इसी बीच बीडीओ से इन शिक्षकों के स्थानांतरण के संदर्भ में मिले दिशानिर्देश के तहत प्रखंड नियोजन समिति ने गत एक जून को इन सभी शिक्षकों को विद्यालय से विरमित करने के आदेश जारी कर दिया। इतना ही नही बीडीओ ने मध्य विधालय तोई मठ के प्रधानाध्यापक को भी इन शिक्षकों को स्थानांतरित करने के संबंध में सूचना देते हुए एक पत्र जारी कर दिया। बीडीओ के इस तल्ख तेवर को देख इन पांचों शिक्षकों ने पुन: जिला कार्यक्रम पदाधिकारी के यहां गुहार लगाते हुय न्याय की मांग की है।

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार जिला कार्यक्रम पदाधिकारी स्थापना की ओर से शिक्षकों के स्थानांतरण के संबंध में बीडीओ के आदेश को रद्द करने के बाद भी बीडीओ की ओर से इन शिक्षकों को स्थानांतरित करने के संबंध में बार-बार जारी किए जा रहा आदेश यह सवाल पैदा कर रहा है कि क्या अपीलीय प्राधिकार का आदेश प्रखंड नियोजन समिति के लिये कोई मायने भी रखता है या नहीं। वहीं स्थानांतरित किए गए शिक्षकों का कहना है कि उन्हें राजनीति का शिकार बनाया जा रहा है। जबकि राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ के प्रखंड अध्यक्ष डॉ. प्रमोद कुमार इस पूरे मामले को राजनीति और विद्वेष की भावना से ग्रषित बताते हैं। उन्होंने कहा कि जिस जांच रिपोर्ट को आधार बनाते हुए बीडीओ के दबाव पर प्रखंड शिक्षक नियोजन इकाई ने यह कार्रवाई की है, वह पूरी तरह से गलत है। कहा कि जिस तारीख को प्रखंड पशुपालन पदाधिकारी एवं प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी द्वारा विवाद की जांच की गई थी, उस समय विद्यालय में मुकेश कुमार सहित तीन शिक्षक उपस्थित ही नहीं थे। मुकेश कुमार के साथ ही स्थानांतरित किए गए विद्यालय के तीन शिक्षक तो बीईओ के ही एक आदेश पर लगभग दस महीने पूर्व से ही प्रतिनियोजन पर दूसरे विद्यालय में योगदान दे रहे थे। जब मुकेश कुमार एवं अन्य दो शिक्षक तोई मठ स्थित विद्यालय में पिछले दस महीने से थे ही नहीं तो उन्हें विवाद का हिस्सा बना उन पर कार्रवाई करने का क्या मतलब बनता है। उन्होंने प्रखंड पशुपालन पदाधिकारी की ओर से की गई जांच के बाद जारी पूरी रिपोर्ट को ही गलत बताया और इन सभी शिक्षकों के स्थानांतरण की कार्रवाई बंद कर अपीलीय प्राधिकार के आदेश को लागू करने की मांग की।

दूसरी ओर बीडीओ धीरज कुमार ने कहा कि उन्होंने पूरे मामले पर डीएम से मार्गदर्शन मांगा है। कहा कि वह नियमानुसार और वरीय अधिकारियों के आदेशानुसार कार्य करेंगे।


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