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नवसृजित विद्यालयों के अस्तित्व खत्म होने से परेशानी

सुपौल। सरकार के निर्देश पर शिक्षा विभाग द्वारा जिले में समाप्त किये गये 35 नवसृजित प्राथमिक विद्यालयों में कई ऐसे विद्यालय हैं जिन्हें न सिर्फ जमीन उपलब्ध है बल्कि उपलब्ध जमीन पर विभाग द्वारा बाह्य संरचना के तहत कई कार्य भी किये जा चुके हैं।

By JagranEdited By: Published: Wed, 29 Mar 2017 03:02 AM (IST)Updated: Wed, 29 Mar 2017 03:02 AM (IST)
नवसृजित विद्यालयों के अस्तित्व खत्म होने से परेशानी
नवसृजित विद्यालयों के अस्तित्व खत्म होने से परेशानी

सुपौल। सरकार के निर्देश पर शिक्षा विभाग द्वारा जिले में समाप्त किये गये 35 नवसृजित प्राथमिक विद्यालयों में कई ऐसे विद्यालय हैं जिन्हें न सिर्फ जमीन उपलब्ध है बल्कि उपलब्ध जमीन पर विभाग द्वारा बाह्य संरचना के तहत कई कार्य भी किये जा चुके हैं। ऐसे में सवाल उठता है कि लाखों रुपये की लागत से बनाये गये इन संरचना का आखिर अब क्या होगा। इससे भी बड़ा सवाल यह है कि जिन लोगों ने विद्यालय के नाम पर जमीन दान स्वरूप दिये हैं आखिर उनकी जमीन पर जब विद्यालय नहीं बनेगा तो सरकार क्या उसे वापस करेगी। जबकि विभाग के हालिया आदेश में यह स्पष्ट कहा गया है कि ऐसे विद्यालय अब टैग किये गये विद्यालय में ही परिमार्जित हो जाएगा तथा परिमार्जित करने वाले विद्यालय के प्रधान ही संपूर्ण विद्यालय का संचालन करेंगे। उदाहरण के तौर पर पिपरा प्रखंड स्थित प्राथमिक विद्यालय संन्यासी टोला जोल्हनियां को ही देखें तो एक दशक पूर्व उक्त टोले में विद्यालय की स्थापना की गई थी तो आसपास के लोगों ने विद्यालय निर्माण के लिए न सिर्फ दान स्वरूप जमीन दिये, बल्कि जमीन का निबंधन भी सरकार के नाम कर दिया। निबंधन प्रक्रिया पूर्ण होते ही उपलब्ध जमीन पर विभाग ने लाखों की लागत से रसोई घर व शौचालय का भी निर्माण कर दिया। अब विभाग के हालिया आदेश से पोषक क्षेत्र के अभिभावक हतप्रभ हैं। लोगों का कहना है कि जब सरकार या विभाग को यहां विद्यालय नहीं बनाना था तो फिर हम लोगों से जमीन क्यों लिया गया। आगे वे लोग कहते हैं कि जिस विद्यालय में उक्त विद्यालय को मर्ज किये जाने की बात कही गई है एक तो वह विद्यालय दूसरे पंचायत में स्थित है और टोले से एक किमी दूरी पर अवस्थित है। ऐसे में छोटे-छोटे बच्चों का वहां जाना संभव नहीं दिख रहा है। यह तो महज एक उदाहरण है। शिक्षा कार्यालय से मिली जानकारी अनुसार समाप्त किये गये कई ऐसे विद्यालय हैं जिन्हें जमीन उपलब्ध है ऐसे में तो अभिभावकों का गुस्सा जायज लगता ही है।

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-प्रखंड का नाम

-बसंतपुर

-समाप्त किये विद्यालय का नाम

-प्रावि मरीक टोला भवानीपुर

-प्रावि हाजी मुसा टोला शंकरपुर

-प्रावि नगर पंचायत वार्ड नंबर 3

-प्रावि तिरहुतिया टोला

-प्रावि गिदरमारी

-प्रावि चौदीप

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-प्रखंड का नाम

-त्रिवेणीगंज

-समाप्त किये विद्यालय का नाम

-प्रावि लालपट्टी दक्षिण

-प्रावि मुस्लिम टोला गोविदंपुर

-प्रावि मुस्लिम टोला बेला

-प्रावि तिवारी सरदार टोला

-प्रावि यादव टोला भैरोपट्टी

-प्रावि पासवान टोला कुमियाही

-प्रावि राम टोला लतौना उत्तर

-प्रावि निपनिया धार से पश्चिम

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-प्रखंड का नाम

-छातापुर

-समाप्त किये विद्यालय का नाम

-प्रावि मेहता टोला डहरिया

-प्रावि मुसहरी टोला डहरिया

-प्रावि मंडल टोला चरणे

-प्रावि मुसहरी टोला चकला

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-प्रखंड का नाम

-पिपरा

-समाप्त किये विद्यालय का नाम

-प्रावि चौधरी टोला बसहा

-प्रावि दुखा यादव टोला झोकायर

-प्रावि मल्लाह टोला दीनापट्टी

-प्रावि महताब टोला ठाढ़ी भवानीपुर

-प्रावि मुसहरी टोला हटवरिया

-प्रावि मुसहरी टोला उत्तर पूरब निर्मली

-प्रावि रहिका टोला जोल्हनियां

-प्रावि संन्यासी टोला जोल्हनियां

-प्रावि तार टोला दसियाबही

-प्रावि इस्लामपुर

-प्रावि गोंये टोला कौशलीपट्टी

-प्रावि उत्तर टोला कटैया

-प्रावि पंडित टोला ललमनियां

-प्रावि उत्तर टोला जरौली

-प्रावि सोनमासीर जरौली

-प्रावि भट्टाबाड़ी वार्ड नंबर 11

-प्रावि तीनटोलिया


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