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बि¨ल्डग चकाचक, सुविधाएं वेंटिलेटर पर

ये सदर अस्पताल समस्तीपुर है। कैंपस में अंदर प्रवेश करते ही यहां बने नए भवनों और पक्की सड़क को देख लगता है कि यहां चिकित्सा सुविधायें भी बेहतर होंगी।

By Edited By: Published: Mon, 27 Jun 2016 12:34 AM (IST)Updated: Mon, 27 Jun 2016 12:34 AM (IST)
बि¨ल्डग चकाचक, सुविधाएं वेंटिलेटर पर

समस्तीपुर। ये सदर अस्पताल समस्तीपुर है। कैंपस में अंदर प्रवेश करते ही यहां बने नए भवनों और पक्की सड़क को देख लगता है कि यहां चिकित्सा सुविधायें भी बेहतर होंगी। लेकिन यह सब गलत तब लगता है जब आपका सामना यहां उपलब्ध कमतर चिकित्सा सुविधाओं से होता है।

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समस्तीपुर सदर अस्पताल पर ऊंची दुकान, फीकी पकवान वाली लोकोक्ति बिल्कुल सटीक बैठती है। यहां इमरजेंसी वार्ड से लेकर ओपीडी तक में स्वास्थ्य सुविधाएं मानो खुद वेंटिलेटर के सहारे चल रहा हो। अस्पताल में लगभग पांच साल से ज्यादा समय से आईसीयू बनकर तैयार है, लेकिन वह आज तक चालू नहीं हो सका है। इन सबके बीच अस्पताल प्रबंधक चिकित्सकों व कर्मियों की कमी का रोना रोते हुए कम संसाधन में बेहतर सुविधा उपलब्ध कराने का दावा जरूर कर रहा ह । लेकिन यहां के हालात कुछ और ही बयां कर रहे हैं। जिले के सदर अस्पताल की यह स्थिति विगत एक साल है।

एक शिफ्ट में चलता ओपीडी, मरीजों को हो रही परेशानी

एक ओर सरकार जन-जन तक बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं पहुंचाने को लगातार योजनाएं बना रही हैं, घोषणाएं कर रही है। सदर अस्पताल परिसर में दो मंजिले भवन में ओपीडी में मरीजों का इलाज किया जाता है। लेकिन यहां आने वाले मरीजों को भारी परेशानी उठानी पड़ रही है। कारण एक शिफ्ट में ओपीडी संचालित होना। सदर अस्पताल में पहले से दो शिफ्ट में ओपीडी का संचालन किया जाता था। एक शिफ्ट सुबह साढ़े आठ से साढ़े बारह बजे तक दूसरी शिफ्ट शाम 4 से 6 बजे तक चलती थी। लेकिन इधर हाल के कुछ महीनों से इस शिफ्ट में चिकित्सक नहीं पहुंच रहे हैं। इससे मरीजों को काफी परेशानी हो रही है। खासकर दूर दराज से आने वाले मरीजों को। अगर भीड़-भाड़, ट्रैफिक जाम या फिर किसी अन्य कारण से मरीज निर्धारित समय में नहीं पहुंच सके, तो उन्हें मायूस हो वापस लौटना पड़ता है। अगर समय पर पहुंच गए तो रजिस्ट्रेशन काउंटर पर लंबी लाइन की वजह से उन्हें मायूस लौटना पड़ता है।

वर्जन

मरीजों को बेहतर सुविधा देने की कोशिश की जा रही है। समय-समय पर चिकित्सकों के ड्यूटी पर आने की जांच की जाती है।

डा. अमरेन्द्र नारायण शाही,उपाधीक्षक, सदर अस्पताल, समस्तीपुर।


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