Move to Jagran APP

पटना बना रणक्षेत्र, लाठी चार्ज व फायरिंग में 40 घायल

राजधानी के गांधी मैदान के निकट आज अपराह्न निषाद समाज के 'निषाद अधिकार मार्च' को पुलिस ने रोक दिया। आगे जाने की जिद पर अड़ प्रदर्शनकारियों ने 'पटना पुलिस मुर्दाबाद' का नारा क्‍या लगाया, पुलिस को गुस्‍सा आ गया। उसने प्रदर्शनकारियों को दौड़ा-दौड़ाकर पीटा।

By Amit AlokEdited By: Published: Fri, 04 Sep 2015 03:21 PM (IST)Updated: Sat, 05 Sep 2015 08:03 AM (IST)
पटना बना रणक्षेत्र, लाठी चार्ज व फायरिंग में 40 घायल

पटना। गांधी मैदान थाना क्षेत्र के जेपी गोलंबर और कारगिल चौक शुक्रवार दोपहर रणक्षेत्र में तब्दील हो गए। निषाद संघ के बैनर तले राजभवन जाने की जिद कर रहे प्रदर्शनकारी पुलिस से भिड़ गए। पुलिस ने भी प्रदर्शनकारियों की रोड़ेबाजी व धक्का-मुक्की का जवाब लाठियां भांज, दर्जनों अश्रु गैस के गोले छोड़ व फायरिंग कर के दिया। हद तो तब हो गई, जब पुलिस ने भी रोड़बाजी की।

loksabha election banner

इस खूनी संघर्ष में करीब 30 प्रदर्शनकारी व 10 से अधिक जवान जख्मी हो गए। पुलिस ने खदेड़-खदेड़ कर प्रदर्शनकारियों को मारा। इसमें उसने महिलाओं व बुजुर्गों तथा गिरे पड़े लोगों का भी ख्याल नहीं किया। पुलिस ने संघ के नेता मुकेश सहनी समेत तीन दर्जन से अधिक लोगों को हिरासत में लिया।

प्रतिबंधित क्षेत्र में घुस रहे थे प्रदर्शनकारी

निषाद संघ को राजभवन मार्च की अनुमति जिला प्रशासन ने नहीं दी थी। बावजूद इसके शुक्रवार को सूबे के विभिन्न राज्यों से संघ के नेता व कार्यकर्ता गांधी मैदान पहुंच गए। सुबह करीब 10 बजे से 12 बजे तक कार्यकर्ता मैदान में बैठे रहे। वे करीब 50 गाडिय़ों से आए थे। दो घंटे में सैकड़ों लोग कारगिल चौक पर जुट गए और राजभवन की ओर कूच किया। वहीं करीब दो सौ लोग कारगिल चौक पर ही रुक गए। बिस्कोमान के पास पुलिस ने बैरकेडिंग कर रखी थी। प्रदर्शनकारियों के वहां रोका गया तो वे उलझ गए।

पहले धरना फिर रोड़ेबाजी

बिस्कोमान गोलंबर पर प्रशासन ने पूरी तैयारी कर रखी थी। वज्र और वरूण वाहन खड़े थे। प्रदर्शनकारियों को रोकने के बाद जिला प्रशासन के दंडाधिकारी और पुलिस पदाधिकारी संघ के शीर्ष नेताओं को समझाने लगे। प्रदर्शनकारी शांतिपूर्वक डाकबंगला चौराहे होते हुए राजभवन तक मार्च करने की बात कह रहे थे। प्रतिबंधित क्षेत्र होने के कारण प्रशासन ने उनकी मांग को खारिज कर दिया।

इसके बाद हजारों प्रदर्शनकारी सड़क पर बैठ गए। नेता लाउडस्पीकर से उद्घोषणा कर कार्यकर्ताओं को आगे बढऩे को उकसा रहे थे। यकायक भीड़ पुलिस के खिलाफ हो गई और उसने रोड़ेबाजी करते हुए बैरकेडिंग तोड़ दी।

पुलिस पर भारी पड़ी भीड़

बैरकेडिंग के तोड़ते ही पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया। प्रदर्शनकारियों के साथ-साथ राहगीरों में हड़कंप मच गया। भगदड़ मचते ही कारगिल चौक पर मौजूद भीड़ भी नारेबाजी करते हुए हाथ में ईंट-पत्थर लेकर गांधी मैदान में घुस गई। जेपी गोलंबर के पास तैनात पुलिसकर्मी उस भीड़ को रोकने के लिए जब गांधी मैदान में घुसे तो एकाएक बिस्कोमान से आगे बढऩे की कोशिश कर रहे प्रदर्शनकारियों ने पुलिस को घेर लिया।

तब पुलिस को आंसू गैस छोडऩा पड़ा। पुलिस ने भी जमकर पत्थर बरसाए। कई थाना की पुलिस व न्यू पुलिस लाइन से रैफ एवं महिला बल को भी बुला लिया गया।

खुद की गाडिय़ों को तोड़ डाला

लगातार दो-तीन राउंड आंसू गैल के गोले छूटने के बाद बिस्कोमान के पास संघर्ष कर रहे प्रदर्शनकारी मैदान में घुस गए। जब पुलिस उन्हें खदेडऩे के लिए पीछे भागी तो प्रदर्शनकारी मैदान से पत्थर चुन-चुनकर पुलिसकर्मियों पर फेंकने लगे। पुलिस ने भी रोड़ेबाजी का जवाब रोड़ेबाजी कर दिया। इस दौरान उन्होंने मैदान में खड़ी खुद की गाडिय़ों के शीशे तोड़ दिए।

वहीं दूसरी ओर जेपी गोलंबर के पास से गुजरने वाले वाहन भी रोड़ेबाजी से क्षतिग्रस्त हो गए। प्रदर्शनकारियों के पत्थर और पुलिस की लाठियों से कई राहगीर भी चोटिल हुए।

दोनों तरु से फायरिंग

प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक जेपी गोलंबर के पास भीड़ में से किसी ने दो-तीन राउंड हवाई फायरिंग की। जवाब में पुलिस ने भी गोलियां चलाईं। आंसू गैस के गोले बम के धमाकों की तरह आवाज कर रहे थे। इससे इलाके में दहशत फैल गई। दोनों ओर से लगभग एक दर्जन राउंड हवाई फायरिंग किए जाने की बात सामने आई है। हालांकि, पुलिस ने फायरिंग से इन्कार किया।

महिलाओं ने भी पुलिस को पीटा

प्रदर्शनकारियों में शामिल महिलाओं ने पुलिस के खिलाफ ज्यादा आक्रोश दिखा। हाथ में रोड़े लेकर वे पुलिसकर्मियों को भद्दी-भद्दी गालियां देती रहीं। कुछ महिलाओं ने लाठियां भांज रहे दो पुलिस जवान को घेर लिया और पीटने लगीं। किसी तरह वह महिलाओं के चुंगल से निकलकर बैंक रोड की तरफ भागा, लेकिन महिलाओं ने उसका पीछा नहीं छोड़ा। वे पीछे से जवानों पर रोड़े बरसा रहीं थीं। बिस्कोमान भवन के दुकानदारों ने जवानों की जान बचाई। दोनों को एक दुकान में घुसा कर बाहर से शटर गिरा दिया।

गंतव्य तक नहीं पहुंची सवारी

अचानक भगदड़ की स्थिति बनने पर स्टेशन से गांधी मैदान की ओर जा रही ऑटो व बस सवारी लिए आधे रास्ते से ही घूम गईं। स्टेशन गोलंबर पर सवारियों की भीड़ खड़ी थी, लेकिन कोई वाहन उन्हें गांधी मैदान ले जाने को तैयार नहीं हुआ। पुलिस ने गांधी मैदान जाने वाले रास्ते को बंद कर दिया था।

..................

'प्रदर्शनकारियों ने पथराव कर पुलिस को लाठीचार्ज करने पर मजबूर कर दिया। हालात पर काबू पाने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़े गए, लेकिन फायङ्क्षरग नहीं की गई। पथराव में करीब दस पुलिसकर्मी घायल हुए हैं। लगभग तीन दर्जन प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार किया गया है।'

- मनु महाराज (एसएसपी)


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.