नियोजित शिक्षकों से वार्ता को सरकार राजी
राज्य ब्यूरो, पटना वेतन बढ़ाने की मांग को लेकर पटना में आर ब्लाक चौराहे पर धरना दे रहे नियोजित शिक
राज्य ब्यूरो, पटना
वेतन बढ़ाने की मांग को लेकर पटना में आर ब्लाक चौराहे पर धरना दे रहे नियोजित शिक्षकों से बातचीत के लिए सरकार तैयार हो गई है। विधान परिषद में मंगलवार को शिक्षा मंत्री पीके शाही भाजपा सदस्य नवल किशोर की सूचना पर जवाब दे रहे थे।
शाही ने आंदोलित शिक्षकों से अपील की कि वे अविलंब अनशन तोड़ दें। उपलब्ध संसाधनों के आधार पर उनके हित में राज्य सरकार सकारात्मक पहल करेगी। सरकार पहले से ही उनके बारे में बेहतर सोच रही है।
शाही ने कहा कि इस मामले को वह खुद देख रहे हैं। इसलिए जो भी संभव होगा, वह करेंगे। उन्होंने सभापति से निवेदन किया कि विधान पार्षदों की एक टीम शिक्षक प्रतिनिधियों से वार्ता करे, जिसके बाद छह अप्रैल को वह मिल बैठकर मामले को सुलझा लेंगे। भाजपा को मंत्री का यह प्रस्ताव मंजूर नहीं था।
भोजनावकाश के बाद कार्यवाही शुरू होते ही भाजपा सदस्य नवल किशोर यादव ने शिक्षकों के धरना प्रदर्शन की सूचना सदन को दी और कहा कि शिक्षकों की हालत खराब हो रही है। एक एक कर अस्पताल पहुंच रहे हैं। सरकार गंभीरता से इस मामले को देखे।
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शाही के प्रस्ताव पर भाजपा का हंगामा
आंदोलित शिक्षकों से वार्ता के लिए मंत्री पीके शाही के प्रस्ताव के तरीके से असहमत भाजपा सदस्यों ने सदन में जमकर हंगामा किया और वेल में आकर दो दो बार धरने पर बैठे, जिसके बाद सभापति ने सदन की कार्यवाही बुधवार 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी। भाजपा सदस्यों का कहना था कि शिक्षकों से बातचीत प्रतिनिधिमंडल या अधिकारी नहीं, बल्कि मंत्री खुद करें। शिक्षक सम्मानित वर्ग है, लग्गी से घास और चोंगा से पानी नहीं चलेगा।
दरअसल मंत्री पीके शाही ने कहा था कि छह अप्रैल तक विधान पार्षदों की एक टीम पहले शिक्षक प्रतिनिधियों से बात करेगी उसके बाद वह सभापति के कक्ष में उनके मसले सुनेंगे। शाही के इस प्रस्ताव को नकारते हुए भाजपा के नवल किशोर यादव, किरण घई, बैद्यनाथ प्रसाद, संजय मयूख आदि ने भारी हंगामा किया और वेल में आकर धरने पर बैठ गए।