परिवहन कानून हुआ सख्त, रद्द होगी अनुज्ञप्ति
अवैध रूप से वाहन चलाने वाले चालकों के लिए बुरी खबर है।
नवादा। अवैध रूप से वाहन चलाने वाले चालकों के लिए बुरी खबर है। ओवरलोड व गलत तरीके से वाहन चलाने वाले चालकों की अनुज्ञप्ति अब रद्द हो सकती है। मोटर वाहन अधिनियम का पालन नहीं करने वाले चालकों पर अब पूरी सख्ती के साथ कार्रवाई होगी। नियम का अनुपालन कराने के लिए पुलिस पदाधिकारियों को शक्ति प्रदान की गई है। इसे सख्ती के साथ लागू करने के आदेश निर्गत किए गए हैं। वहन चालकों द्वारा मोटर वाहन अधिनियम का पालन नहीं करने के बावजूद अबतक वे साफ बच निकल जाते थे। अब वे पुलिस की नजरों से नहीं बच सकते। अबतक पुलिस भी इन मामलों की अनदेखी किया करती थी। अब सर्वोच्च न्यायालय ने मामले में संज्ञान लिया है तो पुलिस को भी कार्रवाई की मजबूरी है। ऐसा सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने व अवैध रूप से चलाए जा रहे वाहनों पर अंकुश लगाने के लिए किया जा सकेगा। परिवहन विभाग नियमों को सख्ती से लागू करने पर आमादा है।
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अनुज्ञप्ति रद्द करने की जिम्मेवारी डीटीओ को
- यातायात नियमों का उल्लंघन करने पर चालक की अनुज्ञप्ति निलंबित करने या रद्द करने की अनुशंसा पर डीटीओ अनुज्ञप्ति धारक को सुनवाई का अवसर देंगें। जांच व सुनवाई में अगर गड़बड़ी पाई गई तो परिवहन अधिनियम की धारा 21 व 22 के तहत अनुज्ञप्ति को रद्द या निलंबित करने का अधिकार डीटीओ को दिया गया है।
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बरती जा रही शिथिलता
- वाहन जांच में लगे अधिकारी मोटर वाहन अधिनियम का अनुपालन कराने में शिथिलता बरत रहे हैं। यातायात नियमों का उल्लंघन करने वाले चालकों पर कार्रवाई के लिए पुलिस पदाधिकारियों को शक्तियां प्रदान की गई है। लेकिन उसका अनुपालन सही तरीके से नहीं हो पा रहा है। चालक द्वारा गलती किए जाने पर उसकी अनुज्ञप्ति पर उसका कारण लिखना है। इसके साथ ही डीटीओ को अनुज्ञप्ति रद्द करने की अनुसंशा करनी है लेकिन जिले में ऐसा किया नहीं जा रहा है। जुर्माने की राशि लेकर मुक्त किया जा रहा है। ऐसे में चालकों की मनमानी जारी हैं। और तो और जिले के पुलिस पदाधिकारियों द्वारा अबतक वाहनों की सघन जांच अभियान तक आरंभ नहीं की गई है।
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कहते हैं अधिकारी
- सभी पुलिस पदाधिकारियों को पूरी सख्ती के साथ वाहन जांच के आदेश निर्गत किए गए हैं। जल्द ही इसके बेहतर परिणाम सामने आएंगे।
विकास वर्मन,पुलिस अधीक्षक, नवादा।