दोहरे हत्याकांड में 7 लोगों को उम्रकैद
जागरण संवाददाता, बिहारशरीफ : अस्थावां के नोआवां पंचायत की पूर्व मुखिया मीतू देवी और उनके पति संजय प्रसाद उर्फ मुनर महतो की हत्या के मामले में प्रथम एडीजे अरुणेंद्र सिंह की अदालत ने सात लोगों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। इस मामले में जमानत पर चल रहे वाहन चालक शुकर राम के मामले का विचारण अलग से किए जाने का फैसला भी अदालत ने सुनाया है। एपीपी सरफराज मलिक की बहस के बाद अदालत ने इस मामले में दोषी करार प्रमोद कुमार, संजू कुमार, राजीव उर्फ लंगड़ा, पंकज कुमार, वीरेश महतो, संजय कुमार व रजनीश कुमार को आजीवन कारावास की सजा दी है। इनमें से हर व्यक्ति को दस दस हजार रुपये का जुर्माना भी अदा करना होगा। आर्म्स एक्ट के तहत इन सभी को पांच-पांच वर्ष के कारावास एवं 5-5 हजार रुपये जुर्माने की सजा दी गई है। जुर्माने की राशि अदा नहीं करने पर एक एक माह का अतिरिक्त कारावास भुगतना होगा। सभी सजाएं साथ साथ चलेंगी। घटना के दिन मृतक दंपती के कार ड्राइवर शुकर राम का अलग से विचारण किया जाएगा। इस मामले में अभियुक्त और वर्तमान मुखिया डेजी देवी को अदालत ने सोमवार को साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया था। सत्र परिवाद संख्या 616/12 व 79/13 के तहत की गई सुनवाई के दो अभियुक्त राजीव महतो (मुखिया डेजी देवी के पति) व राजीव उर्फ भज्जू महतो अब तक फरार है। मृतका मीतू देवी व संजय प्रसाद उर्फ मुनर महतो की अभियुक्तों से चुनावी रंजिश को लेकर प्रतिद्वंद्विता थी। घटना के दिन 10 मई 2012 को अम्बेस्डर कार से पूर्व मुखिया मीतू देवी अपने पति के साथ बीमार अबोध बच्चे के इलाज के लिए बिहारशरीफ आए थे। अभियोजन पक्ष के मुताबिक इलाज करा वापस घर जाने के क्रम में कोयरी विगहा के नजदीक कार ड्राइवर गाड़ी रोककर भाग खड़ा हुआ। इस दौरान हथियारों से लैस अभियुक्त झाड़ियों से बाहर निकलकर अंधाधुंध फायरिंग करने लगे जिसमें मीतू व उनके पति की की घटना स्थल पर ही मौत हो गई जबकि बच्चा दैवयोग से सुरक्षित बच गया और वह अभी अपने परिजनों के पास पल रहा है। मंगलवार को सजा सुनाए जाने के बाद सभी दोषियों को सजा भुगतने के लिए जेल भेज दिया गया।