Move to Jagran APP

भारतीय दर्शन में वर्णित नियमों का पालन कर प्राप्त कर सकते हैं स्वस्थ्य जीवन : कुलपति

मुंगेर। बीआरएम कालेज के गृह विज्ञान विभाग की ओर से आयोजित हेल्थ प्रमोसन थ्रू लाइफ स्टाइल विषयक राष्ट

By Edited By: Published: Wed, 02 Sep 2015 05:52 PM (IST)Updated: Wed, 02 Sep 2015 05:52 PM (IST)
भारतीय दर्शन में वर्णित नियमों का पालन कर प्राप्त कर सकते हैं स्वस्थ्य जीवन : कुलपति

मुंगेर। बीआरएम कालेज के गृह विज्ञान विभाग की ओर से आयोजित हेल्थ प्रमोसन थ्रू लाइफ स्टाइल विषयक राष्ट्रीय सेमीनार का आयोजन किया गया। जिसका उद्घाटन तिलका मांझी भागलपुर विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. डॉ. रमाशंकर दूबे, प्रति कुलपति प्रो. एके राय, डा राकेश कुमार, एवं कालेज के प्राचार्य डा एमए नियाजी आदि ने दीप प्रज्ज्वलित कर किया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि सदर अस्पताल के उपाधीक्षक डा राकेश कुमार सिन्हा थे।

loksabha election banner

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कुलपति ने कहा कि आयुर्वेद चिकित्सा की सबसे प्राचीनतम विधा है। जिसमें यह बतलाया गया है कि मनुष्य कैसे शतायु हो सकता है। आयुर्वेद हमें यह बताता है कि हमारी दिनचर्या, क्रियाकलाप या हमारा आहार व्यवहार कैसा होना चाहिए। हमारे ऋषि महर्षियों ने अनादि काल में ही बताया था कि हमारी दिनचर्या या ऋतुचर्या कैसी होनी चाहिए। किन वस्तुओं के सेवन से किन-किन बीमारियों से बचा जा सकता है। दवा से केवल रोग पर नियंत्रण किया जा सकता है। हमें भारतीय दर्शन में वर्णित नियमों का पालन करना चाहिए। ताकि हम मानसिक, शारीरिक और आध्यात्मिक रूप से स्वस्थ हो सकें। ईसा से तीन सौ वर्ष पूर्व महर्षि कपिल ने अपने सूत्रों के माध्यम से प्रकृति और मानव के बीच के संबंधों को बताया था। जब हम प्रकृति के विरूद्ध आचरण करते हैं। तभी ब्याधियों से ग्रसित होते हैं। आज से दो सौ ईसा पूर्व महर्षि पतंजलि ने 84 योग के माध्यम से स्वस्थ होने मंत्र दिए थे। यदि हम योग को समझकर उसका अनुसरण करें तो बहुत सी बीमारियों से बचा जा सकता है। मुख्य अतिथि डा राकेश कुमार सिन्हा ने कहा कि आज फूड सिक्योरिटि से अधिक न्युट्रिशन सिक्योरिटि की जरूरत है। स्वस्थ शरीर के लिए संतुलित आहार जरूरी है। आज देश की लगभग 25 प्रतिशत आबादी को दो वक्त की रोटी नहीं मिल पाती है। जिससे लोग कुपोषण जनित बीमारियों के शिकार हो जाते हैं। देश की सत्तर प्रतिशत आबादी हाइपरटेंशन और डायबिटीज के शिकार है। मौके पर डॉ. राजकिशोर सिन्हा, प्रो. कमल किशोर सिन्हा, अभा निगम, फारूख अली, केसी मिश्रा, डॉ. रेणु रानी जायसवाल सहित विभिन्न कालेजों के शिक्षक एवं छात्राएं उपस्थित थीं।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.