सांसद का कदम स्वागतयोग्य
संवाद सहयोगी, मधेपुरा : सांसद पप्पू यादव द्वारा निजी क्लीनिकों की मनमानी व भ्रष्ट चिकित्सकों व नेताओं उठाए गए कदम के बाद लोगों के बीच इस बात की चर्चा जोरों पर है। वहीं पक्ष-विपक्ष की राजनीति शुरू हो गई। लोगों को आशंका है कि ओछी राजनीति के कारण कहीं यह संवेदनशील मामला दब कर रह न जाए। दूसरी ओर इस आदोलन की शोर पर कानूनविद भी अपनी बेवाक टिप्पणी देकर मामले को दिलचस्प बना दिया है।
---------
वरीय अधिवक्ता जवाहर झा कहते हैं कोसी में चिकित्सा सेवा लम्बे समय से बदहाल है। ऐसे में सांसद पप्पू यादव का उठाया गया कदम सराहनीय है। सांसद को पहले पूरे मामले में तकनीकी दृष्टिकोण अपना चाहिए। जहां तक कंसलटेंट शुल्क की बात है निश्चित रूप से सांसद का अनुरोध स्वागत योग्य है।
----
अधिवक्ता सदानंद यादव कहते हैं कि सांसद ने गरीबों की पीड़ा को समझते हुए इस मुद्दे को उठाया है। जिसपर राजनीति की बजाय समर्थन होना चाहिए। सांसद को पहले चिकित्सकों के साथ मिल बैठकर बात करनी चाहिए।
--------
अधिवक्ता अनिल वर्मा ने कहा कि सांसद का कदम स्वागत योग्य है। लेकिन इसके लिए उन्हें सड़क से लेकर संसद तक दबाव बनाना होगा। तब जाकर गरीबों को चिकित्सकों की मनमानी से बचाने का सपना सच हो पाएगा।
----
अधिवक्ता राजकिशोर यादव ने कहा कि हमारे देश में सभी लोगों चिकित्सा सुविधा पाना संवैधानिक अधिकार है। लेकिन सरकारी चिकित्सक की बेरूखी के कारण मरीज निजी नर्सिग होम तथा झोला छाप तक जाते हैं। उन्होंने कहा कि वे पहले स्वास्थ्य व्यवस्था के बुनियादी आवश्यकता को पूरा करें।
----
अधिवक्ता सुचिन्द्र सिंह ने कहा कि सांसद द्वारा उठाया गया कदम राजनीतिक मंझधार में फंस गया है। बेहतर होगा कि सांसद इस मुद्दे को संसद में उठाकर कारगर कानून बनवाएं।
----
जिला पार्षद सुनीला देवी ने कहा कि स्वास्थ सुविधा को ले सांसद पप्पू यादव की मुहिम निश्चित रूप से स्वागत योग्य हे। कोसी का क्षेत्र आज भी गरीबी की पीड़ा से ग्रसित है। कम शुल्क में विश्वसवनीय चिकित्सा सेवा समय की जरूरत है। ऐसे में अगर सासंद ने मुहिम शुरू की है तो सबका समर्थन आवश्यक है। उन्होने कहा कि विवाद उभरने से सांसद का आंदोलन कमजोर होगा और फिर से चिकित्सक आम लोगों का शोषण शुरू कर देंगे। उन्होने कोसी के सभी राजनीतिक दल व चिकित्सक से अपील कि वे इस मुहिम को गरीबी के परिपेक्ष्य में देखे। दूसरी ओर उन्होंने सांसद से भी अपील की कि वे प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र तथा उप तथा अतिरिक्त स्वास्थ्य केंद्रों की बदहाली दूर करवाने का उपाय करें।