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बंद अपराधियों का शहर में चल रहा खुला खेल

By Edited By: Published: Tue, 02 Sep 2014 07:24 PM (IST)Updated: Tue, 02 Sep 2014 07:24 PM (IST)
बंद अपराधियों का शहर 
में चल रहा खुला खेल

अपराध नियंत्रण :

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- जिले में लगातार बढ़ रही घटनाओं से चिंतित हैं व्यापारी सहित आमलोग

- सलाखों के पीछे लिखी जा रही अपराध की पटकथा

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कोट

अपराध नियंत्रण के लिए पुलिस चौकस है। सभी थाना पुलिस को सघन गश्ती का निर्देश दिया गया है। आपराधिक वारदातों में शामिल अपराधियो की गर्दन जल्द ही पुलिस की गिरफ्त में होंगे।

= योगेन्द्र प्रसाद सिंह, प्रवक्ता, मधेपुरा पुलिस।

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जागरण संवाददाता, मधेपुरा : अपराध नियंत्रण के सारे दावे फुस्स साबित हुए हैं। भले ही फाइलों पर पुलिसिया घोड़ा सरपट दौड़ता हो। लेकिन जमीनी हकीकत बड़ी डरावनी है। दिनोंदिन कोसी में बढ़ रहे अपराध से आम लोग परेशान हैं। आलम यह है कि विभिन्न संगीन अपराध में जेलों में बंद अपराधियों द्वारा अपराध की पटकथा लिखी जा रही है। उसे सरजमीन पर उतारने का काम बाहर घूम रहे अपराधियों के द्वारा किया जा रहा है। पुलिस सूत्रों की मानें तो लूट और अपराध के कई मामले ऐसे हैं जिसमें पुलिस भी जानती है कि इस घटना का संचालन जेल से ही किया जा रहा है। नतीजतन, एक अपराध की जांच शुरु भी नहीं होती है कि दूसरे आपराधिक वारदात को अंजाम देने में अपराधी कामयाब हो जाते हैं। पुलिस सूत्रों की मानें तो जिले में जनवरी से जुलाई 2014 तक कुल 1680 आपराधिक मामले दर्ज किए गए हैं। जिसमें से अधिकांश मामले चोरी और दंगे से संबंधित हैं। जिले में जनवरी में हत्या तीन, लूट से संबंधित दो, गृह भेदन से संबंधित एक, चोरी से संबंधित 17, अपहरण से संबंधित चार, दुष्कर्म एक, महिला अत्याचार से संबंधित छह तथा ठगी से संबंधित चार मामले दर्ज किए गए हैं। जबकि फरवरी में हत्या व दहेज हत्या एक-एक, लूट तीन, गृह भेदन दो, चोरी 10, अपहरण आठ, दुष्कर्म दो, महिला अत्याचार से संबंधित पांच तथा ठगी से संबंधित नौ मामले दर्ज किए गए हैं। मार्च माह में हत्या तीन, दहेज हत्या तीन, लूट चार, गृह भेदन दो, चोरी 16, अपहरण से संबंधित चार, महिला अत्याचार से संबंधित चार तथा ठगी से संबंधित चार मामले दर्ज किए गए हैं। उसी तरह अप्रैल माह में हत्या से संबंधित दो, गृह भेदन तीन, चोरी 15, अपहरण एक तथा ठगी से संबंधित दो मामले दर्ज किए गए हैं। मई माह में हत्या से संबंधित छह, लूट से संबंधित एक, चोरी 17, अपहरण दस तथा दुष्कर्म के एक मामले दर्ज किये गये हैं। इसके साथ ही जुलाई तथा अगस्त महीने में जिले में हुई लूट, चोरी और हत्या के कई मामले ने पुलिस की नींद उड़ा दी है। श्रीनगर थाना के रामनगर बाजार में बीती रात हुई चोरी, बिहारीगंज थाना के बिहारीगंज बाजार स्थित व्यवसायी मिथिलेश कुमार से हुई 75 हजार रूपए की लूट, मुरलीगंज थाना क्षेत्र के जगतपुर जेवीसी नहर पर अज्ञात शव बरामदगी, भीरखी नदी पुल के नीचे महिला की मिली अज्ञात शव आदि यह बताने को काफी है कि अपराधियों के हौसले कितने बुलंद हैं। स्थिति यह है कि अपराध नियंत्रण से संबंधित पुलिस के आसमानी नारों का फरेब अपराधी से पनाह मांग रहा है। पुलिस पदाधिकारी की माने तो अपराध नियंत्रण को ले पुलिस तत्पर है जिसका नतीजा है कि प्रतिदिन अपराध में शामिल कोई न कोई अपराधी पुलिस के गिरफ्त में आ रहा है। उदाकिशुनगंज पुलिस ने कुख्यात मणिया के हथियारवाहक नागो मेहता को गिरफ्तार करने में सफलता इसी कड़ी में शामिल है।


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