बच्चों को नहीं मिल रहा मध्यान्ह भोजन
मधेपुरा, संवाद सूत्र : सरकार द्वारा शिक्षा को गुणवत्तापूर्ण बनाने के लिए कई तरह के योजना चला रहे हैं। लेकिन आलम यह है कि सरजमीं पर काम नहीं हो पा रहा है। मुख्यालय के बीचों-बीच मस्जिद चौक के पास मदरसा इस्लामिया में सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं से बच्चों को सुविधाएं नहीं मिल पा रही है। मदरसा इस्लामिया में कुल 214 छात्र-छात्राएं नामांकित हैं। रविवार को छात्रों की उपस्थिति पंजी में 133 बच्चों का उपस्थिति दर्ज किया गया था। मदरसा इस्लामियां में कुल छह शिक्षकों के पद हैं। जिसमें चार शिक्षक पदस्थापित हैं। मदरसा इस्लामिया के प्रधानाध्यापक मुश्ताक अहमद ने बताया कि मदरसा में वर्ग आठ तक की पढ़ाई होती है।
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छात्राओं को नहीं मिला मध्याह्न भोजन :
रविवार को मदरसा में बच्चों को मध्याह्न भोजन नहीं दिया गया। इस बाबत प्रधानाध्यापक कहते हैं कि रसोईया के नहीं आने से मध्याह्न भोजन नहीं बन पाया। पूछे जाने पर कि रसोईया क्यों नहीं आई? तो प्रधानाध्यापक ने कहा कि एक रसोईया की तबियत खराब है तथा दूसरी रसोइया के यहां शादी है।
मदरसा में मध्याह्न भोजन का मेनू चार्ट नहीं :
राज्य सरकार के निर्देशानुसार सभी विद्यालय तथा मदरसा में बच्चों को दिए जाने वाले मध्याह्न भोजन का सप्ताहिक मेनू चार्ट दीवाल पर लिख दिया जाता है ताकि बच्चों के अभिभावक इसे देख सके। मदरसा में मेनू चार्ट नहीं है, पूछे जाने पर प्रधानाध्यापक कहते हैं कि लिखवाने के लिए दिया गया है।
मदरसा में साफ-सफाई का घोर अभाव :
साफ-सफाई के लिए विशेष जोर दिया जाता है लेकिन मदरसा में बच्चों को मिलने वाले मध्याह्न भोजन बनाने वाले रसोई घर का हालत बेहद खराब है। गंदगी और कुव्यवस्था के कारण रसोई घर में समान यत्र-तत्र बिखरा पड़ा था।