Move to Jagran APP

हाई स्कूल के आगे से हटाया गया अतिक्रमण

लखीसराय। प्रखंड मुख्यालय में एनएच के दोनों किनारे अतिक्रमण है। इस पर किसी का ध्यान कभी नहीं रहा है।

By Edited By: Published: Fri, 09 Oct 2015 05:32 PM (IST)Updated: Fri, 09 Oct 2015 05:32 PM (IST)
हाई स्कूल के आगे से हटाया गया अतिक्रमण

लखीसराय। प्रखंड मुख्यालय में एनएच के दोनों किनारे अतिक्रमण है। इस पर किसी का ध्यान कभी नहीं रहा है। चुनावी मौसम में सक्रिय प्रशासनिक व्यवस्था को भी इससे मतलब नहीं है। स्थानीय पब्लिक स्कूल में सुरक्षा बलों की सुरक्षा में जब अतिक्रमण आड़े हाथ आया तो प्रशासन की नींद खुली। शुक्रवार को सीओ प्रेम कुमार ने पुलिस बल के साथ मिलकर पब्लिक हाई स्कूल के मुख्य द्वार के आगे लगाए गए काठ की दुकानों को हटाया। स्कूल के गेट से सटाकर दुकानें खड़ी कर देने से स्कूल प्रशासन को मुसीबतों का सामना करना पड़ रहा था। कई बार स्कूल प्रशासन ने प्रखंड स्तरीय प्रशासनिक पदाधिकारी एवं थाना पुलिस को इसके लिए आवेदन भी दिया लेकिन कभी इसकी सुध नहीं ली गई। जब सुरक्षा बलों ने इसे तत्काल हटाने की मांग की तो सीओ की नींद खुली। सशस्त्र बल द्वारा विद्यालय के मुख्य द्वार के आगे से लगभग एक दर्जन काठ की दुकानों को हटाकर अतिक्रमण मुक्त कराया। कुछ दुकानदारों ने स्थानीय प्रशासन पर दुकान को क्षतिग्रस्त कर दिए जाने का भी आरोप लगाया। पप्पू साव, अनिल ठाकुर, संजीव कुमार, मिथिलेश कुमार, मनोज कुमार, रामदेव साव, बैजू साव, शकर साव, मूसो साव आदि दुकानदारों की मानें तो उससे उनकी रोजी-रोटी चल रही थी। उसे भी प्रशासन द्वारा बिना किसी सूचना के बल पूर्वक हटा दिया। अंचलाधिकारी प्रेम कुमार ने बताया कि गलत तरीके से दुकान लगाकर अतिक्रमण किया जाना वैध नहीं है। इससे विद्यालय के छात्र-छात्राओं एवं शिक्षकों को परेशानी हो रही थी। उन्होंने बताया कि एनएच 80 व उसके दोनों किनारे बने फूटपाथ को पाच दिनों के अंदर अतिक्रमण मुक्त नहीं किया गया तो वैसे लोगों के विरूद्ध दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.