आजादी के बाद ग्रामीणों को नसीब नहीं हुई पक्की सड़क
स्थानीय प्रखंड के कसेर गांव से नावा गांव तक जाने वाली सड़क आजादीके बाद आज तक पक्की
कैमूर। स्थानीय प्रखंड के कसेर गांव से नावा गांव तक जाने वाली सड़क आजादीके बाद आज तक पक्की सड़क नहीं बन सकी। पक्की सड़क नहीं बनने के कारण लोगों को गांव तक पहुंचने में भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
ग्रामीणों का कहना है कि बरसात के दिनों में गांव के लोगों को प्रखंड मुख्यालय तक पहुंचने में काफी परेशानी होती है।
बता दे कि आजादी के 70 साल बीत जाने के बाद भी नावा गांव बुनियादी सुविधाओं से आज भी वंचित है। गांव के लोगों का कहना है कि जैसे ही बारिश का मौसम शुरू होता है । वैसे ही प्रखंड मुख्यालय से लोगों का आवागमन पूरी तरह कट जाता है । बड़ी मुश्किल से पैदल किसी तरह से लोग पक्की सड़क वाले गांव कसेर तक पहुंचते हैं। सबसे बड़ी परेशानी तब होती है जब गांव में लोग बीमार पड़ जाते हैं। बीमार को अस्पताल तक पहुंचाने में काफी परेशानी होती है।
ग्रामीणों ने कहा कि चुनाव के समय ही गांव तक सड़क बनवाने की नेताओं के द्वारा बात कही जाती है। उसके बाद कोई भी समस्या तक देखने तक नहीं आता है। ग्रामीणों ने जिलाधिकारी से नावा गांव तक पक्की सड़क बनवाने की मांग की है।