कलश स्थापन आज, सजा माता का दरबार
जमुई। शहर के बोधवन तालाब स्थित चैती मां दुर्गा का भव्य मंदिर है। यहां माता वैष्णवी दुर्गा है।
जमुई। शहर के बोधवन तालाब स्थित चैती मां दुर्गा का भव्य मंदिर है। यहां माता वैष्णवी दुर्गा है। यह मंदिर मनोकामना मंदिर है। इस मंदिर का इतिहास काफी पुराना है। माता की प्रतिमा कलाकारों द्वारा बनाई जा रही है। मंदिर परिसर को साफ सफाई व रंग-रोगन कर सजाया गया है मंदिर प्रांगण में बजरंगबली, शीतला मंदिर, यज्ञ मंडप मंदिर की शोभा बढ़ा रही है। प्रांगण के सभी मंदिर में स्थापित प्रतिमाओं को सजाया जा रहा है। बुधवार को यहां कलश स्थापन के साथ मां दुर्गा की पूजा-अर्चना शुरू होगी ।
मंदिर का इतिहास
वर्षों पहले गिद्धौर राजा द्वारा माता का गहबर का निर्माण किया गया था। मिट्टी के घर में गहबर था। गहबर का पुजारी बोधवन बाबा नामक महात्मा थे। जिसके नाम से ही बोधवन तालाब नाम रखा गया है। 1990 के दरम्यान कमेटी का गठन हुआ और सामूहिक चंदे से मंदिर का निर्माण हुआ।
कमेटी के सदस्य ने कहा
कमेटी के संचालक प्रमोद साह बताते है कि आमदनी कम होने से काफी दिक्कतें होती है। चंदे का सहारा लेना पड़ता है। पूजा के अवसर पर 4 अप्रैल को जागरण का प्रोग्राम रखा गया है। 5 अप्रैल से 24 घंटे का रामधुन यज्ञ का आयोजन किया जाएगा। कमेटी में अध्यक्ष महेश प्रसाद केशरी, सचिव कृष्णा प्रसाद यादव, निगरानी समिति अरुण साह, रामोतार साह, चंदन कुमार, अरविन्द साह, राजेश वर्णवाल, चन्द्रकांत भगत, शेखर वर्णवाल, सिधेश्वर पाल आदि सदस्य है।
क्या कहते है पुजारी
गरसंडा निवासी सुवंश पांडेय ने बताया कि इस मंदिर में 26 साल से पूजा-अर्चना कर रहा हूं। मेरे से पहले गहबर की पूजा-अर्चना भछियार निवासी भुवनेश्वर पांडेय द्वारा किया जाता था।