फुटपाथ पर होता सब्जी का कारोबार
गया। शहर के दक्षिणी इलाके राजेंद्र आश्रम में सड़क और फुटपाथ पर अतिक्रमणकारियों ने हद कर दी। यहां क अत
गया। शहर के दक्षिणी इलाके राजेंद्र आश्रम में सड़क और फुटपाथ पर अतिक्रमणकारियों ने हद कर दी। यहां क अतिक्रमणकारियों ने सड़क व फुटपाथ पर स्थायी तौर पर अपना टेंट लगा रखा है। यह टेंट बांस-बल्ला के सहारे लगाया गया है। जिसका अधिकांश भाग मुख्य सड़क पर निकला रहता है। जो यातायात व्यवस्था में निश्चित तौर व्यवधान डाल रही है। यह मार्ग बोधगया जाने और आने का मुख्य सड़क है। इन अतिक्रमणकारियों ने टेंट लगाकर सब्जी का कारोबार करते हैं। यह कारोबार डंके के चोट पर की जाती है। इन्हीं कोई डर भय नहीं है। दिन हो या फिर संध्याबेला के समय यह टेंट लगा रहता है। उस टेंट की छाया में सब्जी विक्रेता अपना कारोबार करते हैं। टेंट में सिर्फ सब्जी विक्रेता कारोबार नहीं करते हैं। बल्कि समाहरणालय से लेकर राजेंद्र आश्रम के बीच कई मोटर पार्टस व रिपेय¨रग करने वालों की दुकान मिल जाएंगे। जो स्थायी तौर पर सड़क के किनारे फुटपाथ बनाया है। उस पर अपना कब्जा जमा लिया है। ऐसे में जहां सड़क और फुटपाथ पर टेंट लग जाए तो फिर सड़क की चौड़ाई क्यों होगी। यह आप खुद सोच सकते हैं कि राजेंद्र आश्रम के सड़क की चौड़ाई कितना बच जाएगी। इस मार्ग की स्थिति तब भयावह हो जाती है कि जब चार पहिया वाहन या फिर स्कूली बस गुजरती है। उस समय इस मार्ग पर जाम लग जाता है। वाहन चलाने वाले किसी तरह से यहां से निकलने की कोशिश करते हैं। जाम किसी भी कारण से लगे। लेकिन टेंट लगाकर सब्जी बेचने वाले और मोटर रिपये¨रग करने वाले अतिक्रमणकारी अपने दुकान की समान जो सड़क रखे हुए हैं, उसे हटाने की जरूरत नहीं समझते हैं। इस कारण से कई बार वाहन का पहिया सब्जी विक्रेता के टोकरी पर चढ़ जाती है। फिर क्या, वैसे स्थिति में नोकझोंक और मारपीट की नौबत आ जाती है। प्रशासनिक और नगर निगम के अधिकारी भी यहां से गुजरते हैं। लेकिन वे भी उसे हटाने की जरूरत नहीं समझते हैं। ऐसे में पूरे ठाट के साथ सड़क और फुटपाथ पर कब्जा जमा कर अपना कारोबार करते हैं। जो आम लोगों के लिए परेशानी का सबब बना हुआ है।