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सनकी मासूका ने बनाया आशिक की कत्ल का प्लान

दरभंगा । जाले में 14 साल की एक दलित लड़की को नंगा कर पिटाई और एसिड अटैक जैसी दिल दहला देने वाली घटना

By Edited By: Published: Sun, 07 Feb 2016 11:52 PM (IST)Updated: Sun, 07 Feb 2016 11:52 PM (IST)
सनकी मासूका ने बनाया आशिक की कत्ल का प्लान

दरभंगा । जाले में 14 साल की एक दलित लड़की को नंगा कर पिटाई और एसिड अटैक जैसी दिल दहला देने वाली घटना को अंजाम देने की आरोपी लड़कियां आखिरकार पुलिस की गिरफ्त में आ गई हैं। मधुबनी के बेनीपट्टी के बसैठा गांव में जाकर दोनों छुप गई थीं। उन्हें रविवार को दरभंगा लाकर पूछताछ की गई। सीजेएम कोर्ट में प्रस्तुत किया गया। अपनी तरह का यह रेयरेस्ट ऑफ द रेयर केस के रूप में सामने आने के बाद सुर्खियों में है। पुलिस के अनुसार, लड़कियां हर पल अपना बयान बदल रही हैं। आधा-अधूरा जुर्म कबूला है। कबूलती भी कैसे नहीं। दोनों के हाथ व चेहरे पर तेजाब से जलने के निशान भी पाए गए हैं। 18 साल की अंबिका मेहता का बायां हाथ जला हुआ है। पैर व चेहरे पर भी तेजाब से जलने के दाग हैं। वही 16 साल की खुशबू कुमारी के शरीर व हाथ पर तेजाब के जगह-जगह छींटे पड़ने से जलने के निशान दिखे हैं। लड़की के साथ इस तरह से द¨रदगी के पीछे उनके क्या मकसद हैं। इसमें बदलते बयानों के बीच संजू को ही अपना मोहरा बनाने की एक बड़ी वजह भी सामने आई है। दरअसल, संजू ही स्कूल-कॉलेज आते-जाते छींटाकशी किया करती थी। लिहाजा, उसकी शक्लो-सूरत उनके जेहन में था। दूसरी वजह यह भी कि उसकी कद-काठी भी संजू से मिलती-जुलती थी। लड़कियों के बदलते बयानों पर अगर यकीन करें तो संजू उनपर ताने कसती रहती थी। कहती-'बड़ स्टाइल मारै छैं , टांका भिड़ल छौ की? पूछती-इतना बन संवरकर कहां आती-जाती रहती हो। सरेराह चलते उसकी बातें दिल को चूभ जाती थी। वह भी तब जब कोई अनपढ़ गंवार लड़की पढ़-लिख रही लड़कियों के आचरण पर छींटाकशी करे। इसलिए उन दोनों ने सबक सिखाने की ठानी। अब पुलिस के लिए उलझन है कि कॉलेज में पढ़ने वाली अंबिका व स्कूली छात्रा खूशबू के बीच तालमेल कैसे बैठा। जाले काजी अहमद इंटर कॉलेज में इंटरमीडिएट की छात्रा है अंबिका तो खूशबू गांव से तीन किलोमीटर दूर पश्चिम वसंत हाइस्कूल में 9 वीं में पढ़ाई करती है। अंबिका के पिता संजय कुमार मेहता पेशे से ज्योतिषी हैं और पंचाग सुधार समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष भी कहलाते हैं। उधर, 16 साल की खूशबू कुमारी भी जाले हाट की रहने वाली है। उसके पिता प्रमोद महतो ताड़ी छेते हैं। बसैठा बस स्टैंड से उन्हें हिरासत में लिया गया। --------------------------------------

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कौन है उसका महबूब और कैसा धोखा

जाले का ही रहने वाला है उसका आशिक संजीव कुमार चौधरी दगा देकर दिल्ली चला गया। वह जाले बाजार के व्यवसायी सत्यनारायण चौधरी का पुत्र है। वह कहती है संजीव ने उसके साथ धोखा किया है। प्यार-मोहब्बत का झांसा देकर शोषण किया और मतलब निकल गया तो दिल्ली जाकर बैठ गया। फोन न करता है, न उठाता है। लिहाजा, हमने उससे बदला लेने का प्लान बनाया। यह एक अकेले का काम नहीं था। सो, अपनी भरोसे की सहेली खूशबू को विश्वास में लेकर प्लान को अमलीजामा पहनाने की ठानी। संजीव दो महीने पहले ही दिल्ली गया है। वहां आजादनगर इलाके में रहता है। ---------------------------------

बदलते बयान पर संदेह

पुलिस के अनुसार, वो लड़कियां मारपीट की बात स्वीकार करती हैं। एसिड अटैक वाला गुनाह भी कबूलती हैं, लेकिन पीड़िता को नंगा करने और उसे उस हाल तक पहुंचाने वाली बात पर चुप्पी साध लेती हैं। एसिड वाली बोतल के बारे में सफाई देते हुए उन लोगों ने बाइक सवार लड़कों का जिक्र किया। उन्होंने ही एसिड वाली बोतल थमाई थी। एसिड से भरी बोतल थमकार पानी का बोतल बताने वाले लड़कों के जिक्र से स्पष्ट हो जाता है कि इस केस में तीसरा कोई और भी साथ रहा है। पुलिस ने भी दोनों स जानना चाहा कि उसे नंगा क्यों किया, ईंट से क्यों मारा, नाक, कान के गहने और हाथ का कंगन किसने निकाला तो उन्होंने कुछ नहीं बताया। सिटी एसपी हर किशोर राय ने इन सब बातों के बारे में कुछ नहीं कहते हुए इतना कहा कि लड़कियों ने अपना जुर्म कबूल लिया है। घटना की असल वजह और उसका मकसद पता नहीं चल पा रहा है। लड़कियों से अभी पूछताछ चल ही रही है। जाले थाने में एसिड अटैक विक्टिम संजू के फर्द बयान व किशोरी साव नामक एक व्यक्ति के पूरक बयान पर दर्ज केस (कांड सं.19/16) के ¨बदुओं पर भी पुलिस गौर फरमा रही है।

---------------------------------पुलिस की भी अपनी मजबूरियां

पुलिस ने यहां उन लड़कियों का बचाव करने में कोई कसर नहीं छोड़ी। दरअसल, उनमें से एक अंबिका मेहता तो बालिग है, लेकिन दूसरी खुशबू 16 साल की है। कोर्ट में उन दोनों का इकबालिया बयान होने से पहले पुलिस ने पूछताछ में प्राप्त जानकारियों से इसलिए भी परहेज किया। सिटी एसपी हर किशोर राय ने कहा कि दोनों ने अपना जुर्म तो कबूल लिया है, लेकिन घटना के कारण और उसका मकसद पता नहीं चल पाया है। बड़ा सवाल यह है कि बड़े-बड़ों सुरमा भोपाली से जुर्म कबूलवा लेने में माहिर पुलिस इन दो लड़कियों से सच्चाई नहीं उगलवा सकी। वह भी इस घटना में जबकि, हर तरफ इसी घटना के चर्चे हैं और हर कोई उन लड़कियों की करतूत सुनकर अवाक हैं।


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