झुनझुना थामने को तैयार नहीं नए डीईओ
दरभंगा, संस : राज्य सरकार से जिले में नवपदस्थापित डीईओ अधिकार के नाम पर मात्र अनुश्रवण और निरीक्षण क
दरभंगा, संस : राज्य सरकार से जिले में नवपदस्थापित डीईओ अधिकार के नाम पर मात्र अनुश्रवण और निरीक्षण का झुनझुना थामने को तैयार नहीं है। वे तो अपने लिए भी वैसा ही अधिकार चाहते हैं,जैसा डीईओ को मिलता है। उन्हें प्रतीक्षा है 5 नवंबर का, जब इस मामले में सुप्रीम कोर्ट अपना फैसला सुनाएगी। तब तक नए डीईआ वेट एंड वाच की स्थिति में रहना चाहते हैं। नए डीईओ के बीच पनप रहे इसी आक्रोश को देखते हुए राज्य सरकार ने उन्हें अलग चैम्बर, कर्मचारी और गाड़ी की सुविधा देने की भी आदेश जारी कर दिया है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर सरकार ने प्रमंडल में 4 और जिले में 3 शिक्षकों को बतौर डीईओ पदस्थापित किया है। इनके संभाग भी सरकार ने पदस्थापना के साथ ही वितरित कर दिए, लेकिन काम केवल अनुश्रवण और निरीक्षण का ही मिला। सरकार की यह अधिसूचना आम लोगों को भी नहीं पची तो नव पदस्थापित डीईओ को भला कैसे पचती। तीन-तीन अधिकारियों पर लाखों का वेतन खर्च करके आखिर सरकार उनसे काम लेना क्यों नहीं चाहती, यह ऐसा प्रश्न था जिसका जवाब तो सरकार के लोग ही दे सकते थे, लेकिन नव पदस्थापित डीईओ के पास विकल्प था सुप्रीम कोर्ट। उनका कहना था कि कोर्ट के आदेश पर प्रोन्नति तो मिल गई लेकिन अधिकार नहीं मिला। इस बीच शायद सरकार को भी इसकी भनक लगी और उसने नवपदस्थापित डीईओ के लिए दो लिपिक, एक कंप्यूटर आपरेटर, एक चतुर्थ वर्गीय कर्मी के साथ उन्हें वाहन भी उपलब्ध कराने का आदेश जारी कर दिया है। नए डीईओ सुधीर झा से जब इस मामले में टिप्पणी मांगी गयी तो उन्होंने कहा कि जो सरकार का आदेश होगा वही होगा। लेकिन, उनके समकक्षों ने कहा कि 5 नवंबर को कोर्ट में सुनवाई है, उसके बाद हम लोग योगदान के बारे में सोचेंगे।