डीएसओ व एसएफसी प्रबंधक को सैलरी पर रोक
मंगलवार के अंक में''दैनिक जागरण''में''गरीबों के खाद्यान्न पर लगी रोक''शीर्षक से प्रकाशित खबर पर संज्ञान लेते हुए जिलाधिकारी रमण कुमार ने जिला आपूर्ति पदाधिकारी व राज्य खाद्य निगम के जिला प्रबंधक पर कार्रवाई की है।
बक्सर : मंगलवार के अंक में''दैनिक जागरण''में''गरीबों के खाद्यान्न पर लगी रोक''शीर्षक से प्रकाशित खबर पर संज्ञान लेते हुए जिलाधिकारी रमण कुमार ने जिला आपूर्ति पदाधिकारी व राज्य खाद्य निगम के जिला प्रबंधक पर कार्रवाई की है। उन्होंने दोनों अधिकारियों का वेतन अवरुद्ध करते हुए उनसे दो दिनों के अंदर स्पष्टीकरण मांगा है। साथ ही दो दिनों में प्रगति का प्रतिवेदन सुपुर्द करने का फरमान सुनाया है। ऐसा नहीं होने पर खाद्य आपूर्ति विभाग के प्रधान सचिव को उनके विरुद्ध समुचित कार्रवाई की अनुशंसा करने की चेतावनी दी है।
प्रशासनिक सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार जागरण में खबर प्रकाशित होने के बाद मंगलवार को जिलाधिकारी ने जिले में राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के क्रियान्वयन की स्थिति की समीक्षा की। कहा गया कि विभागीय निदेशानुसार सभी योग्य लाभुकों को जन वितरण प्रणाली के दुकानदारों के माध्यम से किसी माह के लिए खाद्यान्न का वितरण उसी माह में शत प्रतिशत कर लिया जाना है। जबकि, यहां फरवरी में खाद्यान्न का वितरण नहीं किया जा सका है। जिलाधिकारी ने बताया कि विभागीय पदाधिकारियों द्वारा पीडीएस दुकानों का नियमित निरीक्षण भी नहीं किया जा रहा है। जबकि, पीडीएस दुकानदारों द्वारा खाद्यान्न व किरासन वितरण में बरती जा रही अनियमितता की शिकायतें मिल रही हैं। बैठक में फरवरी माह में अब तक महज 26 वाहनों में लोडशेड लगाए जाने पर भी डीएम ने असंतोष जाहिर किया और इसे लापरवाही करार दिया। इस दौरान उन्होंने धान अधिप्राप्ति की भी समीक्षा की। इस क्रम में अब तक महज 30 राइस मिलों के पैक्स व व्यापार मंडल के साथ टैग किए जाने पर असंतोष व्यक्त किया। यही नहीं संपूर्ण जिले में अब तक लगभग 12 हजार एमटी धान का क्रय होने और राज्य खाद्य निगम द्वारा 144 एमटी सीएमआर प्राप्त किए जाने पर भी डीएम ने हैरानी जताई। डीएम ने कहा कि धान अधिप्राप्ति के क्षेत्र में यह प्रगति अत्यंत निराशाजनक है। इस परिस्थिति में जिलाधिकारी ने दोनों अधिकारियों का वेतन अवरुद्ध करते हुए उनसे स्पष्टीकरण की मांग की है।