जदयू में बगावत के सुर, जिलाध्यक्ष से मांगा इस्तीफा
भागलपुर । विधानसभा चुनाव सिर पर है। भागलपुर सीट पर महागठबंधन की प्रतिष्ठा दांव पर लगी है। चुनाव प्रच
भागलपुर । विधानसभा चुनाव सिर पर है। भागलपुर सीट पर महागठबंधन की प्रतिष्ठा दांव पर लगी है। चुनाव प्रचार के लिए महागठबंधन नित नए तरीकों का प्रयोग करने में जुटा है। पर, इन सारे प्रयासों पर जदयू का अंतरर्विरोध संकट की तरह मंडराने को तैयार है। पिछले कई महीनों से जदयू जिला अध्यक्ष अर्जुन साह के खिलाफ दबा आक्रोश रविवार को फूट चुका है।
रविवार को नगर अध्यक्ष सुनीता सिंह के नेतृत्व में जिला जिलास्तरीय पदाधिकारियों की बैठक हुई, जिसमें जिलाध्यक्ष पर परिवारवाद, फासीवादी रवैया अपनाने, पार्टी कार्यकर्ताओं की उपेक्षा करने जैसे तमाम आरोप लगाए गए। नगर अध्यक्ष ने कहा, अर्जुन साह के नेतृत्व में पार्टी की सारी गतिविधियां महज चार लोगों के बीच सिमट कर रह गई है। अन्य नेताओं को बैठक की जानकारी तक नहीं दी जा रही है। जिला अध्यक्ष खुद को भागलपुर विधानसभा क्षेत्र तक कैद किए हुए हैं। अन्य विधानसभा क्षेत्रों के जदयू उम्मीदवारों से उनका कोई वास्ता नहीं रह गया है। यह भी आरोप लगाया गया कि जिला अध्यक्ष भाजपा के लिए काम कर रहे हैं।
यूं तो जदयू जिला अध्यक्ष के खिलाफ आक्रोश पार्टी के डीएनए सैंपल फेज-2 के शुरुआत के दिन ही खुलकर आ गया था। तब प्रखंड स्तर तक के पदाधिकारियों की बैठक में कई वरिष्ठ नेता अनुपस्थित रहे थे। जानकारी करने पर पार्टी के कुछ नेताओं ने दबी जुबान में बताया था कि उन्हें बैठक की जानकारी नहीं मिल पाती है। अब पार्टी के नेता खुलकर मैदान में आ गए हैं।
नगर अध्यक्ष के भीखनपुर स्थित आवास हुई बैठक में पदाधिकारीगण जिलाध्यक्ष मुर्दाबाद, नीतीश कुमार जिंदाबाद के नारे लगाए। विरोध जता रहे पदाधिकारियों ने बताया कि जिलाध्यक्ष के कामकाज के तरीके से क्षुब्ध होकर रूपेश साह, डॉ बसंत साह, डॉ राकेश साह, राजकुमार यादव सहित पचास से अधिक पदाधिकारी और कार्यकर्ता जदयू छोड़कर अन्य पार्टी में शामिल हो चुके हैं। हम उन्हें वापस लाने की तैयारी कर रहे हैं। यह पूछने पर कि ऐन चुनाव के पहले आपका विरोध महागठबंधन प्रत्याशी को क्षति नहीं पहुंचायेगा। उनका कहना था, हमारा संकल्प पार्टी को सातों सीटों पर विजय दिलाना है। विरोध जताकर हम अपना संदेश नीतीश कुमार तक पहुंचाना चाहते हैं।
इस दौरान जिला महिला अध्यक्ष रीता सिंह कुशवाहा, जिला महासचिव नीरज साह, व्यवसायिक प्रकोष्ठ प्रदेश महासचिव अमरदीप साह, ¨रकू सिंह चंद्रवंशी, महादलित प्रकोष्ठ अध्यक्ष प्रकाश दास, विश्वविद्यालय उपाध्यक्ष दीपक यादव, अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ अध्यक्ष हसनैन अंसारी, छात्र जिलाध्यक्ष विशाल राय, छात्र महानगर अध्यक्ष प्रिंस कुमार, युवा महानगर इकाई अध्यक्ष समीम रिजवी सबने विरोध के स्वर बुलंद किए।
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सुख-सुविधा चाहते हैं कुछ लोग, मैं कैसे दूं : अर्जुन साह
पार्टी में अपने खिलाफ उठ रहे विरोध के स्वर पर जिला अध्यक्ष अर्जुन साह का कहना है कि कुछ लोग सुख-सुविधा चाहते हैं। ये विरोधी नहीं हमारे ही साथी हैं। पर, उनकी इस इच्छा को पूरा कर पाना मेरे बस में नहीं है। विरोध करने वाले हमारे साथी चाहते हैं कि उम्मीदवारों की तरफ से उन्हें भी गाड़ियां मुहैया कराई जाए। इस बाबत हमने पार्टी और विधायक से मांग भी की थी। पर, सच्चाई तो यह है कि जो चुनाव प्रचार के लिए काम करेगा, सुविधाएं भी तो उसे ही मिलेंगी। विरोध का दूसरा कारण, सभी साथी मंच पर स्थान चाहते हैं। पार्टी की गाइडलाइन के मुताबिक मंच पर किसे जगह दी जाए यह उम्मीदवार तय करेगा, न कि जिलाध्यक्ष। यहां भी मैं असमर्थ हूं। सोमवार को मुख्यमंत्री का कार्यक्रम गौराडीह में है, उसकी तैयारी में लगा हुआ हूं। महागठबंधन को जिताने के लिए समर्पित हूं। ऐसा लगता है कि कहीं न कहीं कोई विपक्ष से मिसगाइड हो रहा है। सभी हमारे साथी हैं। सबको मनाउंगा, अगर जरूरत पड़ी तो माफी भी मांग लूंगा। जहां तक परिवारवाद को बढ़ावा देने का आरोप है, मेरे परिवार से एक भी शख्स पार्टी का पदाधिकारी नहीं है।